महेन्द्रनाथ गुप्त
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महेन्द्रनाथ गुप्त | |
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जन्म |
12 मार्च 1854 कोलकाता, पश्चिम बंगाल, भारत |
मौत |
4 जून 1932 कोलकाता, पश्चिम बंगाल, भारत | (उम्र 78 वर्ष)
प्रसिद्धि का कारण | श्रीरामकृष्ण वचनामृत नामक विख्यात पुस्तक के रचयिता हैँ |
महेन्द्रनाथ गुप्त (बांग्ला: মহেন্দ্রনাথ গুপ্ত) (1854-1932) श्रीमान 'एम' और 'मास्टर महाशय' के नाम से अधिक परिचित हैं। वे श्रीरामकृष्ण वचनामृत नामक विख्यात पुस्तक के रचयिता हैं। महेन्द्रनाथ गुप्त बीसवीं सदी के भारतीय संत परमहंस योगानंद के गुरु भी थे।[1]
परिचय
[संपादित करें]सन्दर्भ
[संपादित करें]- ↑ "महेन्द्रनाथ गुप्त का जीवनचरित". मूल से 5 अप्रैल 2013 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 28 जुलाई 2012.
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