केरल में पूर्व- मुसलमान आन्दोलन

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भारत के केरल राज्य में पूर्व-मुसलमान आन्दोलन एक सामाजिक परिघटना है जो 2021 से बढ़ रही है। इसी समय यह सोशल मीडिया प्लेटफार्मों पर चर्चा से बड़े पैमाने पर समाज में एक व्यापक आंदोलन के रूप में विकसित होना शुरू हुआ।

केरल के पूर्व-मुसलमान स्वतंत्र विचारकों ने 'केरल के पूर्व मुस्लिम' नाम से एक नास्तिक और तर्कवादी संगठन के रूप में शुरुआत की। इसका उद्देश्य पूर्व-मुसलमानों को एक मंच पर लाना और उन्हें समर्थन प्रदान करना था। इसका लक्ष्य इस्लाम छोड़ने वालों के साथ होने वाले भेदभाव को कम करना है। [1] [2] [3] [4] यह भारत में अपनी तरह का पहला संगठन है और केरल की मलयालम भाषा में सक्रियता पर ध्यान केंद्रित करता है और पूर्व मुसलमानों के मानवाधिकारों और सम्मान की रक्षा करना और भारत के संविधान द्वारा प्रदत्त धार्मिक स्वतंत्रता के अधिकार को सुनिश्चित करना चाहता है। वे आस्था की परंपराओं या प्रथाओं के नाम पर होने वाले मानवाधिकारों के उल्लंघन के मामलों के खिलाफ अदालतों में जाने की भी योजना बना रहे हैं। [1] [4]

पूर्व-मुसलमान दिवस[संपादित करें]

2022 से केरल के पूर्व-मुस्लिम 9 जनवरी को "पूर्व-मुस्लिम दिवस" के रूप में मनाते हैं। [5] [6] 9 जनवरी 2021 को इस्लाम [7] के आलोचक ई०ए० जब्बार ने सलाफी [8] उपदेशक एम०एम० अकबर के साथ कुरान में वैज्ञानिक चमत्कारों के बारे में सार्वजनिक बहस की। मलप्पुरम में आयोजित लगभग पांच घंटे लंबी [9] बहस वायरल हो गई, जिसे यूट्यूब पर कई बार देखा गया। इस संगठन के गठन के समय 9 जनवरी को "पूर्व मुस्लिम दिवस" के रूप में प्रस्तावित किया गया था। [1] [4]

सक्रियता और गतिविधियाँ[संपादित करें]

"केरल के पूर्व मुस्लिम" नामक फेसबुक समुदाय एक अधिक व्यापक नास्तिक समूह से उत्पन्न हुआ।जब इस आंदोलन को केरल के कई पूर्व मुसलमानों से समर्थन प्राप्त हुआ तो फिर 2019 में अलग होकर स्वतन्त्र अस्तित्व में आया। [10]

सन्दर्भ[संपादित करें]

  1. Philip, Shaju (2022-01-10). "Now, an outfit for 'Ex-Muslims' in Kerala". The Indian Express (अंग्रेज़ी में). मूल से 11 January 2022 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 2022-01-11. सन्दर्भ त्रुटि: <ref> अमान्य टैग है; ":0" नाम कई बार विभिन्न सामग्रियों में परिभाषित हो चुका है
  2. "ഇസ്ലാം മതം ഉപേക്ഷിച്ചവരുടെ കൂട്ടായ്മ കേരളത്തിലും, മതമുപേക്ഷിച്ചവർക്ക് സാമൂഹ്യപിന്തുണ". Asianet News Network Pvt Ltd.
  3. "Ex-Muslim organisation gathers steam in Kerala". Keralakaumudi Daily.
  4. "ExMuslims of Kerala vows to protect rights of those who renounce religion". The New Indian Express. सन्दर्भ त्रुटि: <ref> अमान्य टैग है; ":1" नाम कई बार विभिन्न सामग्रियों में परिभाषित हो चुका है
  5. "Ex-Muslim organisation gathers steam in Kerala". Keralakaumudi Daily.
  6. "'Ex-Muslims of Kerala' declares Jan 9 as formation day". The Print.
  7. PTI (2022-01-09). "'Ex-Muslims of Kerala' declares Jan 9 as formation day". ThePrint (अंग्रेज़ी में). अभिगमन तिथि 2023-04-24.
  8. "M M Akbar refutes Rashid Abdulla's claims". The Times of India. 2017-05-21. आइ॰एस॰एस॰एन॰ 0971-8257. अभिगमन तिथि 2023-04-24.
  9. MP, Prashanth. "To believe or not?". The Times of India. आइ॰एस॰एस॰एन॰ 0971-8257. अभिगमन तिथि 2023-04-24.
  10. Dore, Bhavya (2021-08-10). "Ex-Muslims in India find solidarity online as they face social and familial rejection". Religion News Service (अंग्रेज़ी में). अभिगमन तिथि 2022-01-11.

इन्हें भी देखें[संपादित करें]