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सदस्य वार्ता:2323355Ayushsingh

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Latest comment: 2 माह पहले by 2323355Ayushsingh in topic अनुभव
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-- नया सदस्य सन्देश (वार्ता) 15:44, 14 अक्टूबर 2024 (UTC)उत्तर दें

अनुभव

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अनुभव- यह शब्द दो अर्थों में लिया जाता है। एक, किसी भी कार्य या वस्तु के बारे में ज्ञान अनुभव होता है और दूसरा की हमने अपने जीवन काल में क्या ज्ञान प्राप्त किया, अर्थात ज्ञान प्राप्ति ही अनुभव है। बंगाल में एक कहावत है- “ठेकले बुद्धि पावा जाए” जिसको हिंदी में कहते हैं की ठोकर खाने से आदमी सीखता है। अनुभव का सारा सार ही इस कहावत में निहित है। हमें किताबें पढ़ने से ज्ञान मिलता है,  परन्तु व्यवहार में ज्ञान का लाभ तभी मिलता है जब उसका उपयोग व्यावहारिकता के धरातल पर किया जाए।

एक साधारण सी बात है- की हलवा बनाने में कुछ खास वस्तुओं का उपयोग किया जाता है जैसे आटा, घी, चीनी, पानी । तो क्या इन सबको आपस में मिलाकर आग पर रख देने से हलवा बन जाएगा?  मैं कहूंगा, असम्भव।  इसके लिए अनुभव की आवश्यकता है। किस वस्तु को कब और कैसे और किस अनुपात में मिलाना है,इसके लिए अनुभव की आवश्यकता है। घर में किसी नए कार्य को शुरू करने से पहले पिताजी पूछते हैं कि “क्या तुम इस कार्य को कर पाओगे?” क्या तुम्हें इसका अनुभव है? किसी स्कूल में अध्यापन कार्य के लिए आवेदन किया जाता है तो निर्णायक मंडल सवाल दागता है की आपको पढ़ाने का कितना अनुभव है? कहने का तात्पर्य यह है की ज्ञान की सम्पूर्णता तभी होती है जब ज्ञान के साथ अनुभव हो। ज्ञान एक शब्द है और अनुभव उसका अर्थ। हम देखते हैं की भौतिक या रसायन शास्त्र में प्रैक्टिकल्स कराए जाते हैं। इन प्रक्तिकल्स का सीधा संबंध लिखित ज्ञान के साथ अनुभव करना होता है।

अनुभव एक अच्छे शिक्षक की तरह होता है जो हमें कार्य करने का बेहतर तरीका सिखाता है और हमारी कमियों को सुधारना है। ज़िंदगी की वास्तविक समझ अनुभव पर पैदा होती है। हम अपनी शमताओं का समुचित आंकलन और नियोजन अनुभव करके ही कर सकते हैं।अनुभव किए बगैर ना तो हम अपनी ज़िंदगी जी सकते हैं और न ही अपने अंदर समाई दिव्य क्षमता का परिचय पा सकते हैं ।हम आख़िर कौन हैं? हमारे अंदर क्या है? जो बाहर फुटकर आना चाहता है? अनुभव तो इंसान की जिंदगी से कमाया हुआ फल है जो उसे हर समय काम आता है।यह एक ऐसी वस्तु है जो कभी खत्म नहीं होती बल्कि बढ़ती रहती है।एक अनुभवी इंसान दुनिया में कहीं भी अपना काम चला सकता है।अनुभव रहित जीवन दिन पतवार की हिचकोले खाती हुई नाव के समान है।दूसरी ओर अनुभवी व्यक्ति उन कमियों को पहले से ही दूर कर देता है जो उसकी असफलता के कारण हो सकते है। फिर भी अनुभव तभी गुंकरी होता है, जब हम बदली हुई परिस्थितियों के हिसाब उसमें निरंतर सुधार लाते रहे। ज्ञान वृषभ है, तो अनुभव उसकी चाय है।

सन २०१९, २०२०, २०२१ काफी अनुभवों का साल रहा। शायद लॉकडाउन और उस समय व्यवस्था को सुचारू रूप से चलाने का अनुभव सर्वप्रथम हुआ होगा। पर धीरे-धीरे अनुभव होने के बाद यह इतना कठिन नहीं लगता। क्या किसी भी विद्यालय,अध्यापक या शिक्षार्थी को ऑनलाइन क्लैसेज़ का अनुभव रहा होगा? उसकी अनुभवहीनता के कारण शुरुआती समय में क्या कठिनाइयां आई। ’म्यूट/अनम्यूट’, विडीओ ओपन/क्लोज़, प्रश्न/उत्तर आदि बहुत भारी लगते थे।ऐसा लगता था की इस तरह शिक्षा प्रदान करना और करवाना बहुत मुश्किल है।परंतु अब सभी अपने अनुभव ज्ञान से सरलता से ऑनलाइन क्लैसेज़ चला रहे हैं की जैसे अध्यापक और विद्यालय घर पे ही आ चुके हैं।

अंत में में इतना ही कहना चाहूंगा कि व्यक्ति के  इंसान बनने की राह में अनुभव का विशेष स्थान होता है। ज्ञान एवं शिक्षा पेड़ है तो अनुभव उस पेड़ पर लगने वाला फल है और उसका स्वाद अनुभवी व्यक्ति ही ले सकता है।तो आयिए हम हर राह का अनुभव हासिल करें,  ‘experienced’  बने, तजुर्बेदार बने, अनुभवी बने। 2323355Ayushsingh (वार्ता) 15:57, 14 अक्टूबर 2024 (UTC)उत्तर दें