"ब्राह्मण-ग्रन्थ": अवतरणों में अंतर

मुक्त ज्ञानकोश विकिपीडिया से
दो श्ब्दों के बीच जगह छोडना|
छो बॉट: अनुभाग एकरूपता।
पंक्ति 27: पंक्ति 27:
** गोपथब्राह्मण (पिप्पलाद शाखा)
** गोपथब्राह्मण (पिप्पलाद शाखा)


== संदर्भ ==
== सन्दर्भ ==
{{टिप्पणीसूची|२}}
{{टिप्पणीसूची|२}}



14:51, 26 जनवरी 2017 का अवतरण

वेदोक्तब्राह्मणादि जाति या वर्णाश्रमधर्म के लिये ये देखें:ब्राह्मणग्रन्थ


ब्राह्मणग्रन्थ हिन्दू धर्म के पवित्रतम और सर्वोच्च धर्मग्रन्थ वेदों का गद्य में व्याख्या वाला खण्ड है। ब्राह्मणग्रन्थ वैदिक वांग्मय का वरीयताके क्रममे दूसरा हिस्सा है जिसमें गद्य रूप में देवताओं की तथा यज्ञ की रहस्यमय व्याख्या की गयी है और मन्त्रों पर भाष्य भी दिया गया है। इनकी भाषा वैदिक संस्कृत है। हर वेद का एक या एक से अधिक ब्राह्मणग्रन्थ है (हर वेद की अपनी अलग अलग शाखा है)।आज विभिन्न वेद सम्बद्ध ये ही ब्राह्मण उपलब्ध हैं :-

  • ऋग्वेद :
    • ऐतरेयब्राह्मण-(शैशिरीयशाकलशाखा)
    • कौषीतकि-(या शांखायन) ब्राह्मण (बाष्कल शाखा)
  • सामवेद :
    • प्रौढ(या पंचविंश) ब्राह्मण
    • षडविंश ब्राह्मण
    • आर्षेय ब्राह्मण
    • मन्त्र (या छान्दिग्य) ब्राह्मण
    • जैमिनीय (या तावलकर) ब्राह्मण
  • यजुर्वेद
    • शुक्ल यजुर्वेद :
      • शतपथब्राह्मण-(माध्यन्दिनीय वाजसनेयि शाखा)
      • शतपथब्राह्मण-(काण्व वाजसनेयि शाखा)
    • कृष्णयजुर्वेद :
      • तैत्तिरीयब्राह्मण
      • मैत्रायणीब्राह्मण
      • कठब्राह्मण
      • कपिष्ठलब्राह्मण
  • अथर्ववेद :
    • गोपथब्राह्मण (पिप्पलाद शाखा)

सन्दर्भ

इन्हें भी देखें

बाहरी सम्पर्क