विदाई (1974 फ़िल्म)
विदाई | |
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चित्र:विदाई.jpg विदाई का पोस्टर | |
निर्देशक | एल वी प्रसाद |
लेखक | एन टी रामाराव |
पटकथा | एल वी प्रसाद |
निर्माता | एल वी प्रसाद |
अभिनेता |
जितेन्द्र, लीना चन्दावरकर, दुर्गा खोटे, मदन पुरी, सत्येन्द्र कपूर, अनवर हुसैन, कानन कौशल, मीना टी, अर्पना चौधरी, ए के हंगल, असरानी, सत्यजीत पुरी, श्याम कुमार, दिनेश हिंगू |
छायाकार | जाल मिस्त्री |
संपादक | शिवाजी अवधूत |
संगीतकार |
लक्ष्मीकांत प्यारेलाल आनंद बख्शी (गीत) |
प्रदर्शन तिथि |
9 अक्टूबर 1974 |
देश | भारत |
भाषा | हिन्दी |
विदाई 1974 में बनी हिन्दी भाषा की फिल्म है।
संक्षेप
[संपादित करें]व्यापारी साझेदार के धोखे के बाद पार्वती का पति उसे, दो पुत्र प्रभाकर (सत्येंद्र कप्पू) व सुधाकर (जितेंद्र) और गूंगी बेटी (मीना टी) को गरीबी में छोड़ चलबसता है| प्रभाकर बड़ा बन पूजा (कानन कोशल) से शादी कर घरसे चला जाता है| समय के चलते सुधाकर भी अपनी पढ़ाई पूरा कर नौकरी के लिए शहर जाता है| जब गौरी को मुरली (असरानी) से शादी करने से इंकार किया जाता है तो दोनों आत्महत्या करलेते है और सुधाकर घर आजाता है| कुछ दिन बाद सुधाकर अमीर धर्मदास (मदन पुरी) की बेटी पद्मा (लीना चंदावरकर) से शादी कर उसे घर लाता है| अमीर घर में पली पद्मा को अपने सास का साथ रहना पसन्द न होने के कारण घर में तनाव होता है| पद्मा का बच्चा होने पर भी घर की परिस्तिथी नहीं सुधरती| इसलिए बीमार माँ को छोड़ सुधाकर पद्मा के साथ धर्मदास के महल रहने जाता है| आगे की कहानी में पद्मा का पारिवारिक संबंधों को समझना और दोनों भाई प्रभाकर व सुधाकर का मिलकर अपने माँ के साथ रहना दिखाया गाया है|
चरित्र
[संपादित करें]मुख्य कलाकार
[संपादित करें]- जितेंद्र - सुधाकर
- लीना चंदावरकर - पद्मा धर्मदास
- मदन पुरी - धर्मदास
- दुर्गा खोटे - पार्वती
- सत्येन्द्र कप्पू - पार्वती का पति व प्रभाकर
- अनवर हुसैन - मगन
- कानन कोशल - पूजा
- मीना टी - गौरी
- अर्पणा चौधरी - चंपा
- ए के हंगल - रामशरण
- असरानी - मुरली व भास्कर
- सत्यजीत - कृष्ण
- दिनेश हिंगू - रामू
- बीरबल - तीरथदास
- राज वर्मा - बिल्दीचन
- जयश्री टी - भास्कर की सखी
- जगदीप - शंकरलाल
- विकास आनंद - वक़ील
- पिंचू कपूर - न्यायाधीश
- श्याम कुमार
दल
[संपादित करें]- निर्देशक - एल वी प्रसाद
- कथा - एन टी रामाराव
- पटकथा - एल वी प्रसाद
- संवाद - आनंद कुमार
- निर्माता - एल वी प्रसाद
- सम्पादक - शिवाजी अवधूत
- छायांकन - जाल मिस्त्री
- कला निर्देशक - सुधेंदु रॉय
- वस्त्राभिकल्पक - भानु अथैया
- स्टंट - एम् बी शेट्टी
- निर्माण संस्था - प्रसाद प्रोडक्षंस प्रा. लि.
- नृत्य निर्देशक - कमल कुमार
संगीत
[संपादित करें]- गीत "कभी खोले न तिजोरी का ताला" बिनाका गीत माला की 1975 वार्षिक सूची पर 13वीं पायदान पर रही|[1]
सभी गीत आनंद बख्शी द्वारा लिखित; सारा संगीत लक्ष्मीकांत प्यारेलाल द्वारा रचित।
गाने | |||
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क्र॰ | शीर्षक | गायन | अवधि |
1. | "कभी खोले न तिजोरी का ताला" | किशोर कुमार | 5:34 |
2. | "जय जय कृष्ण दरस दिखा दे" | सुमन कल्याणपुर | 3:08 |
3. | "बिदाई की फिर घडी आई" | लता मंगेशकर | 2:26 |
4. | "मैंने तुम संग प्यार किया" | लता मंगेशकर | 4:33 |
5. | "मैं जा रही थी" | आशा भोसले | 4:20 |
6. | "ये है मेरा प्रेमी" | किशोर कुमार, लता मंगेशकर | 6:38 |
रोचक तथ्य
[संपादित करें]परिणाम
[संपादित करें]बौक्स ऑफिस
[संपादित करें]समीक्षाएँ
[संपादित करें]नामांकन और पुरस्कार
[संपादित करें]वर्ष | नामित कार्य | पुरस्कार | परिणाम |
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१९७५ | दुर्गा खोटे | फ़िल्मफ़ेयर सर्वश्रेष्ठ सहायक अभिनेत्री पुरस्कार | जीत |
उल्लेख
[संपादित करें]- ↑ "बिनाका गीत माला की 1975 वार्षिक सूची". मूल से 12 मार्च 2012 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 27 जून 2011.