राष्ट्रीय अनुवाद मिशन
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राष्ट्रीय अनुवाद मिशन (National Translation Mission (NTM)) भारत कें मैसूर स्थित भारतीय भाषा संस्थान की नवीनतम शक्षिक-सांस्कृतिक परियोजना है। सम्प्रति (2008) श्री उदय नारायण सिंह इसके अध्यक्ष हैं।
परियोजना के उद्देश्य
[संपादित करें]भारतीय संविधान की आठवीं अनुसूची में वर्णित भाषाओं के लिये -
- महाविद्यालय एवं विश्वविद्यालयों में पढ़ाये जानेवाले सभी मुख्य विषयों के पाठ्यपुस्तकों के अनुवाद को प्रोत्साहन एवं उनका प्रकाशन
- ज्ञान पर आधारित उच्च-गुणवत्ता युक्त पुस्तकों का भारतीय भाषाओं में अनुवाद
- अनुवाद के उपकरणो का विकास (शब्दकोश एवं सॉफ्टवेयर आदि)
- अनुवादकों का शिक्षण
- वैज्ञानिक एवं तकनीकी शब्दावली का सृजन एवं विकास
- मशीन आधारित अनुवाद को बढ़ावा देना
- निःशुक पुस्तक वितरण।
दीर्घकालिक योजनाएँ
[संपादित करें]- अनुवाद-स्मृति, शब्द-खोजकर्ता, वर्ड नेट इत्यादि के सॉफ़्टवेयर सहायता करने हेतु अनुसन्धान एवं विकास करना
- प्राकृतिक भाषा प्रसंस्करण एवं अन्य अनुवाद सम्बन्धित शोध परियोजनाओं के लिए वित्तीय सहायता एवं अनुदान प्रदान करना
- विशेष परियोजनाएँ जैसे भाषा युग्मों के बीच अनुवाद नियमावलियों के निर्माण के लिए, अनुवाद पर डिग्री डिप्लोमा पाठ्यक्रमों का संचालन करनेवाले विश्वविद्यालय/ विभागों को अनुदान प्रदान करना
- भारतीय भाषाओं में अनुवाद सम्बन्धी पाठों और विश्लेषण इत्यादि के प्रकाशन अथवा अनुवाद सम्बन्धी जर्नलों हेतु आर्थिक सहायता प्रदान करना
- अनुवादकों और अनुवाद गतिविधियों को अधिक दृश्यता प्रदान करने हेतु विभिन्न कार्यक्रम जैसे अनूदित रचनाओं का विमोचन, क्षेत्रीय अनुवाद उत्सव, परिचर्चाएँ, पुस्तक प्रदर्शनियाँ इत्यादि का आयोजन करना
- अनुवाद अध्ययन से सम्बन्धित महत्वपूर्ण शैक्षणिक सामग्री कोश का निर्माण करना ताकि उसपर परिचर्चा हो सके
- अनुवाद को यथेष्ठ उपार्जन वाले व्यवसाय के रूप में स्थापित कर इसे उद्योग के रूप में स्थापित करना।
लाभार्थी
[संपादित करें]राष्ट्रीय मिशन का उद्देश्य ज्ञान-सम्पन्न समाज की रचना करना है। मिशन का उद्देश्य ज्ञान के समान विस्तार को सुनिश्चित करने हेतु मौलिक पाठ्य पुस्तकों का एक भाषा से दूसरी भाषाओं में अनुवाद कर प्रोत्साहित करना है। इससे उन विद्यार्थियों को सहायता मिलेगी जिन्हें भाषिक बाधा के कारण ज्ञान प्राप्ति में अड़चन आती है। A.T.M. का उद्देश्य समाज के विभिन्न व्यवसायों से जुड़े अधिकाधिक लोगों तक इसका लाभ पहुँचाना है।
- विभिन्न विषयों तथा शैक्षिकस्तरों पर संलग्न शिक्षक
- लेखक/अनुवादक/प्रकाशक
- अनुवाद अध्ययन विभाग, विभिन्न विश्वविद्यालयों एवं संस्थानों के भाषा वैज्ञानिक एवं शोधकर्ता
- भारतीय भाषाओं के प्रकाशक जो नए उपक्रम की खोज में हों
- अनुवाद सॉफ़्टवेयर विकासकर्ता
- तुलनात्मक साहित्य से जुड़े विद्वान
- अपनी भाषा में साहित्यिक एवं ज्ञान पाठ्यपुस्तकें पढ़ने के लिए उत्सुक पाठक
- अनौपचारिक शिक्षा उपलब्ध कराने में संलग्न स्वयंसेवक
- लोक-स्वास्थ्य, लोकाधिकार, पर्यावरण, लोकप्रिय विज्ञान इत्यादि क्षेत्रों में कार्यरत गैर सरकारी संगठन
- दुभाषियों की आवश्यकता रखनेवाले व्यक्ति तथा सरकारी एवं निजी अभिकरण
- फिल्म-निर्माता जिन्हें उपशीर्षकों एवं बहुभाषिक प्रदर्शन के लिए आवश्यकता हो
- एफ़एम एवं अन्य आकाशवाणी केन्द्र जो विभिन्न भाषाओं में कार्यक्रमों के प्रसारण से जुड़े हैं। [1]
सन्दर्भ
[संपादित करें]- ↑ ध्येय एवं उद्देश्य (राष्ट्रीय अनुवाद मिशन)