वार्ता:हाडी

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शीघ्र हटाने पर चर्चा[संपादित करें]

इस पृष्ठ को शीघ्र नहीं हटाया जाना चाहिये क्योंकि... (यहाँ अपना कारण बताएँ) --संजय कुमार हरि (वार्ता) 07:02, 19 नवम्बर 2018 (UTC) एक उपेक्षित जाति का वर्णन किया जा रहा है , जिसका प्रमाण तहकीक ऐ हिन्द नामक पुस्तक मे अलबुरनी के द्वारा किया गया है ।[उत्तर दें]

@संजय कुमार हरि: तहकीक-ए-हिन्द में कहाँ इसका जिक्र है। क्या आपके पास कोई प्रमाण है?-- गॉड्रिक की कोठरीमुझसे बातचीत करें 07:18, 19 नवम्बर 2018 (UTC)[उत्तर दें]

शीघ्र हटाने पर चर्चा[संपादित करें]

इस पृष्ठ को शीघ्र नहीं हटाया जाना चाहिये क्योंकि... (यहाँ अपना कारण बताएँ) --संजय कुमार हरि (वार्ता) 10:51, 19 नवम्बर 2018 (UTC) भारत अल बिरूनी के नवा अध्याय पेज नंबर ४८ -जातिया जिन्हें वर्ण कहते है और उनसे निम्नतर वर्ण के अन्दर निम्नतर वर्ण के लोग पेराग्राफ 2 मै हाडी जाति का जिक्र किया गया हैं[उत्तर दें]

@संजय कुमार हरि: क्या भारत सरकार इस जाति को मान्यता देती है?-- गॉड्रिक की कोठरीमुझसे बातचीत करें 11:36, 19 नवम्बर 2018 (UTC)[उत्तर दें]
हटाएँ नहीं, आवश्यक हो तो कुछ परिवर्तन कर लें, या, सन्दर्भ मांगें।--अनुनाद सिंह (वार्ता) 07:56, 28 नवम्बर 2018 (UTC)[उत्तर दें]
@अनुनाद सिंह: इतने भी दुर्भावना ग्रस्त न हो जाएं, यह पृष्ठ कबका सुधार कर रखा जा चुका है। एक बार टिप्पणी देने से पहले पृष्ठ पर नज़र ही डाल लेते कि शीघ्र हटाने वाला टैग कबका हट चुका है। कृपया अब दुर्भावना छोड़े। मैं इससे ज्यादा आपसे उलझना नहीं चाहता।-- गॉड्रिक की कोठरीमुझसे बातचीत करें 08:43, 28 नवम्बर 2018 (UTC)[उत्तर दें]
@Godric ki Kothri: जी, आप 'विकिपीडिया प्रबन्धक' हैं। दुर्भावना रखने का अधिकार बस आपको है। जरा ये बताइये कि लोग कहाँ-कहाँ देखेंगे? इस पृष्ट पर हटाने की चर्चा चल रही है और यहाँ कोई उल्लेख नहीं है कि इस लेख को हटाने का इरादा जाता रहा है। उलटे हमको सिखा रहे हैं कि यहाँ देखना चाहिए था, वहाँ देखना चाहिए था। मैं तो इसलिए लिख दिया कि देखा कोई नया सदस्य कराह रहा है और आप हटाने पर तुले हुए हैं। मुझे भी लगा कि लो एक और लेख शहीद हुआ! थोड़ा भी होमवर्क नहीं किया कि देख लें कि इस नाम की जाति के बारे में इन्टरनेट पर कुछ है या नहीं, विकि पर कुछ है या नहीं। यहाँ मेरे दुर्भावनाग्रस्त होने की बात कर रहे हैं और मेरे पृष्ट पर एक नवागन्तुक साधु सदस्य को 'कॉपीराइट चोर' कहकर चिल्ला रहे हैं!!--अनुनाद सिंह (वार्ता) 09:34, 28 नवम्बर 2018 (UTC)[उत्तर दें]

डॉ मोहन हाडी[संपादित करें]

स्वतंत्र भारत के प्रथम लोकसभा चुनाव १९५२ मानभूम उत्तर जिला जो अभी धनबाद , पुरुलिया , बोकारो और गिरिडीह जिला के नाम से जाना जाता हैं , वहाँ से सामान्य श्रेणी से प्रभात चन्द्र बोस ( कला स्नातक ) राज स्कूल शिक्षक और अनुसूचित श्रेणी से डॉ मोहन हाडी (ऍम बी बी एस ) डॉक्टर थे दोनों विजय हुए थे ,