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सदस्य:रविराज ग्वाल

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!!जय ग्वाल जय गोपाल!!

!!जय यादव जय माधव!!

बात ग्वाल समाज की हो और गऊ माता की ना हो ऐसा नहीं हो सकता जय गौ माता जय श्री कृष्णा।। संसार का सबसे पवित्र यदुवंश जिसमें भगवान श्रीकृष्ण जन्म लिया यदुवंश की सबसे पवित्र शाखा जिसमें भगवान श्रीकृष्ण का पालन-पोषण हुआ।। समस्त लोको से सुंदर गोकुल यहां के राजा बाबा नंद (नौ लाख गायो के स्वामी) वासुदेव जी के चाचा पर्जन्य के पुत्र थे ।। ग्वाल समाज के बंधु रक्षाबंधन से पूर्व संध्या को जाक बाबा की पूजा करते हैं जिसमें बेरी आक छोला आदी को राखी बांधकर पूजा की जाती है एवं दीपावली पर गाय को सर्वोपरि मानकर गाय माता की पूजा की जाती है एवं दीपावली के दूसरे दिन श्री गोवर्धन जी ग्वाल समाज में बनाए जाते हैं जिनकी पूजा पूरा समाज विधि-विधान और पूर्ण श्रद्धा से करता है इंद्र के कोप से भगवान श्री कृष्ण गोवर्धन पर्वत को उंगली पर उठाकर ही हम सब ग्वाल बालों की रक्षा की थी ग्वाल वंश में मुख्यता 28 गोत्रों का समूह है जो निम्न है।।

गोत्र

1_वानिये

2_हिन्नवार

3_ रियार

4_सुराह

5_ररहा

6_मोरिया

7_चंदेल

8_सागर

9_सफा

10_अहीर

11_कछवाय

12_दुबेले

13_पचौरी

14_थम्मार

15_गुजेले

16_कुमियां

17_हाॅस

18_मोहनियां

19_फुलसुन्गा

20_रायठोर

21_मसानियां

22_पड़रिया

23_कोकन्दे

24_निगोते

25_सतोगिया

26_रोतेले

27_रेकवार

28_लखोनिया

29_गौंगरे

30_बमनिया दयेली

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रवि ग्वाल(कोकन्दे)

मुंगावली म.प्र.

9826842867