"राजकुमारी यशोधरा": अवतरणों में अंतर
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'''राजकुमारी यशोधरा''' (563 ईसा पूर्व - 483 ईसा पूर्व) राजा [[सुप्पबुद्ध]] और उनकी पत्नी [[पमिता]] की पुत्री थीं। यशोधरा की माता- पमिता राजा शुद्धोदन की बहन थीं। १६ वर्ष की आयु में यशोधरा का विवाह राजा [[शुद्धोदन]] के पुत्र सिद्धार्थ गौतम के साथ हुआ। बाद में सिद्धार्थ गौतम संन्यासी हुए और [[गौतम बुद्ध]] के नाम से प्रसिद्ध हुए। यशोधरा ने २९ वर्ष की आयु में एक पुत्र को जन्म दिया जिसका नाम राहुल था। अपने पति गौतम बुद्ध के संन्यासी हो जाने के बाद यशोधरा ने अपने बेटे का पालन पोषण करते हुए एक संत का जीवन अपना लिया। उन्होंने मूल्यवान वस्त्राभूषण का त्याग कर दिया। पीला वस्त्र पहना और दिन में एक बार भोजन किया। जब उनके पुत्र राहुल ने भी संन्यास अपनाया तब वे भी संन्यासिनि हो गईं। उनका देहावसान ७८ वर्ष की आयु में गौतम बुद्ध के निर्वाण से २ वर्ष पहले हुआ। |
'''राजकुमारी यशोधरा''' (563 ईसा पूर्व - 483 ईसा पूर्व) राजा [[सुप्पबुद्ध]] और उनकी पत्नी [[पमिता]] की पुत्री थीं। यशोधरा की माता- पमिता राजा शुद्धोदन की बहन थीं। १६ वर्ष की आयु में यशोधरा का विवाह राजा [[शुद्धोदन]] के पुत्र सिद्धार्थ गौतम के साथ हुआ। बाद में सिद्धार्थ गौतम संन्यासी हुए और [[गौतम बुद्ध]] के नाम से प्रसिद्ध हुए। यशोधरा ने २९ वर्ष की आयु में एक पुत्र को जन्म दिया जिसका नाम राहुल था। अपने पति गौतम बुद्ध के संन्यासी हो जाने के बाद यशोधरा ने अपने बेटे का पालन पोषण करते हुए एक संत का जीवन अपना लिया। उन्होंने मूल्यवान वस्त्राभूषण का त्याग कर दिया। पीला वस्त्र पहना और दिन में एक बार भोजन किया। जब उनके पुत्र राहुल ने भी संन्यास अपनाया तब वे भी संन्यासिनि हो गईं। उनका देहावसान ७८ वर्ष की आयु में गौतम बुद्ध के निर्वाण से २ वर्ष पहले हुआ। |
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17:52, 7 जनवरी 2017 का अवतरण
राजकुमारी यशोधरा | |
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जीवनसंगी | गौतम बुद्ध |
पिता | सुप्पबुद्ध |
बौद्ध धर्म |
बौद्ध धर्म का इतिहास · बौद्ध धर्म का कालक्रम · बौद्ध संस्कृति |
बुनियादी मनोभाव |
चार आर्य सत्य · आर्य अष्टांग मार्ग · निर्वाण · त्रिरत्न · पँचशील |
अहम व्यक्ति |
गौतम बुद्ध · बोधिसत्व |
क्षेत्रानुसार बौद्ध धर्म |
दक्षिण-पूर्वी बौद्ध धर्म · चीनी बौद्ध धर्म · तिब्बती बौद्ध धर्म · पश्चिमी बौद्ध धर्म |
बौद्ध साम्प्रदाय |
थेरावाद · महायान · वज्रयान |
बौद्ध साहित्य |
त्रिपतक · पाळी ग्रंथ संग्रह · विनय · पाऴि सूत्र · महायान सूत्र · अभिधर्म · बौद्ध तंत्र |
राजकुमारी यशोधरा (563 ईसा पूर्व - 483 ईसा पूर्व) राजा सुप्पबुद्ध और उनकी पत्नी पमिता की पुत्री थीं। यशोधरा की माता- पमिता राजा शुद्धोदन की बहन थीं। १६ वर्ष की आयु में यशोधरा का विवाह राजा शुद्धोदन के पुत्र सिद्धार्थ गौतम के साथ हुआ। बाद में सिद्धार्थ गौतम संन्यासी हुए और गौतम बुद्ध के नाम से प्रसिद्ध हुए। यशोधरा ने २९ वर्ष की आयु में एक पुत्र को जन्म दिया जिसका नाम राहुल था। अपने पति गौतम बुद्ध के संन्यासी हो जाने के बाद यशोधरा ने अपने बेटे का पालन पोषण करते हुए एक संत का जीवन अपना लिया। उन्होंने मूल्यवान वस्त्राभूषण का त्याग कर दिया। पीला वस्त्र पहना और दिन में एक बार भोजन किया। जब उनके पुत्र राहुल ने भी संन्यास अपनाया तब वे भी संन्यासिनि हो गईं। उनका देहावसान ७८ वर्ष की आयु में गौतम बुद्ध के निर्वाण से २ वर्ष पहले हुआ।
यशोधरा के जीवन पर आधारित बहुत सी रचनाएँ हुई हैं, जिनमें मैथिलीशरण गुप्त की रचना यशोधरा (काव्य) बहुत प्रसिद्ध है।