वार्ता:घारापुरी गुफाएँ
विषय जोड़ें--आशीष भटनागरसंदेश ०२:२९, ४ जून २००९ (UTC)
नाम बदला गया[संपादित करें]
इस लेख का नाम बदल कर एलीफेंटा गुफाएं रखा गया है, क्योंकि:-
- एलीफेंटा नाम से कोई स्वतंत्र जगह नहीं है। इसके मूल ग्राम स्थान का नाम घारपुरी हैं।
- इसका पूरा नाम यही है।
- यह नाम पुर्तगालियों/अंग्रेज़ों द्वारा रखा गया था, जो कि गुफाओं के लिए ही था।
- अंग्रेज़ी विकि में भी यही नाम है।
- इसके साथ ही यह भी, कि इसके मूल ग्राम का नाम घारपुरी द्वीप है, ना की घारानगरी। यह शब्द मूल शब्द अग्रहारपुरी से निकला है। यह उल्लेख अंग्रेज़ी विकि में दिया गया है। अतएव उसे भी बदल कर घारपुरी कर रहा हूं। कृपया अन्यथा ना लें। इस कारण से ही संदर्भ सहित बताया है।
आशा है, इसमें कोई आपत्ति ना होगी।--आशीष भटनागरसंदेश ०२:२९, ४ जून २००९ (UTC)
सन्दर्भ देखें[संपादित करें]
एलिफेंटा का वास्तविक नाम सुप्रसिद्ध लेखक "पद्म भूषण" ईश्वरी प्रसाद ने अपनी प्रसिद्ध पुस्तक "प्राचीन भारतीय संस्कृति, कला, राजनीति, धर्म तथा दर्शन" के पृष्ठ संख्या २१९ पर "धारानगरी" लिखा है। यह एक प्रामाणिक पुस्तक है। यदि अंग्रेजी विकी के अतिरिक्त और किसी संदर्भ ग्रंथ में "घारपुरी" दिया गया हो तो कृपया सूचित करें। क्योंकि विकी पर जो जानकारी दी जा रही है उसका समुचित संदर्भ देखना भी आवश्यक है। नहीं तो भ्रम की स्थिति उत्पन्न हो जाएगी। अंग्रेजी विकी या हिन्दी विकी या किसी और भाषा की विकी पर कुछ गलत लिखा है तो उसे हम सन्दर्भ खोजकर सही कर लें।
--डा० जगदीश व्योम ०३:३०, ४ जून २००९ (UTC)
- इस स्थान के नाम के लिए कुछ संदर्भ दे रहा हूं। यदि उचित लगे तो रखें, अन्यथा वापस नगरी किया जा सकता है।
इनमें से अधिकांश मराठी साइट हैं, क्योंकि ये नाम उतना बड़े शहर का नहीं है, कि सदा सर्वदा ही समाचारों में रहे। हां स्थानीय समाचारों में रहता है। इसके अलावा घारानगरी मात्र २ स्थानों पर नेट पर मिलता है।
- परमार भोज लेख के अनुसार, एवं राजस्थान पत्रिका] के अनुसार धारानगरी राजा भोज की राजधानी थी, जिसकी स्थिति मध्य प्रदेश में कहीं है।
शेष आप स्वयं निर्णय लें। जो उचित लगे कीजिए। चर्चाओं एवं साक्ष्यों से ही सत्य उजागर होते हैं। जो आप करें, मुझे मान्य होगा। हां इस धारानगरी को फिल्हाल पुनर्निर्देशित भी किया जा सकता है। वैसे अभी इससे जुड़ते हुए कोई अन्य लेख नहीं हैं। फिर भी ध्यानाकर्षण के लिए धन्यवाद।--आशीष भटनागरसंदेश ०३:४५, ४ जून २००९ (UTC)
- सही जानकारी की खोज करके जानना ही हमारा उद्देश्य है। इसे और जगह भी देखते हैं।
--डा० जगदीश व्योम ०३:५१, ४ जून २००९ (UTC)- आप देख परख कर जो भी निर्णय लें, कृपया नाम बदल लें, यदि आवश्यक हो। मेरा पूरा समर्थन है।साथ ही आपके हस्ताक्षर में आपके सदस्य नाम, वार्ता आदि का लिंक नहीं आता है। कृपया संभव हो और पसंद हो, तो ऊपर मेरी वरीयताएं, में जाकर मेरा वाला पेस्ट कर दें, जिसमें नाम के स्थान पर अपना सदस्य नाम व अपनी पसंद के रंग बदल दें। इससे वार्ता पर सीधे जाने में आसानी होती है।--आशीष भटनागरसंदेश ०३:५६, ४ जून २००९ (UTC)