"त्रिफला": अवतरणों में अंतर

मुक्त ज्ञानकोश विकिपीडिया से
छो Removing {{आधार}} template
Translated from http://en.wikipedia.org/wiki/Triphala (revision: 376609195) using http://translate.google.com/toolkit with about 90% human translations.
पंक्ति 1: पंक्ति 1:
[[File:Phyllanthus officinalis.jpg|thumb|एम्ब्लिका ओफिशिनालिस]]
'''त्रिफला''' एक आयुर्वेदिक <ref name="McIntyre2005">{{cite book|author=Anne McIntyre|title=Herbal treatment of children: Western and Ayurvedic perspectives|url=http://books.google.com/books?id=QLin14nRVBsC&pg=PA278|accessdate=24 July 2010|date=7 September 2005|publisher=Elsevier Health Sciences|isbn=9780750651745|pages=278–}}</ref> जड़ी बूटी वाला <ref name="pmid17998642">{{cite journal |author=Girdhani S, Bhosle SM, Thulsidas SA, Kumar A, Mishra KP |title=Potential of radiosensitizing agents in cancer chemo-radiotherapy |journal=J Cancer Res Ther |volume=1 |issue=3 |pages=129–31 |year=2005 |pmid=17998642 |doi= |url=http://www.cancerjournal.net/article.asp?issn=0973-1482;year=2005;volume=1;issue=3;spage=129;epage=131;aulast=Girdhani}}</ref> रासायनिक फ़ार्मुला है जिसमें तीन myrobalans को बीज निकाल कर समान मात्रा में लिया जाता है: अमलकी(आमला ''(Emblica officinalis),)'' बिभीतक(बहेडा) ''(Terminalia bellirica,'' और हरितकी (हरड़) ''[[हरीतकी|(Terminalia chebula).]]''


त्रिफला शब्द ''(त्रिफला '' , [[हिन्दी|हिन्दी]] / [[संस्कृत भाषा|संस्कृत में:]] त्रिफला {{IPA-hns|trɪˈpʰɐlaː|}} , अंग्रेज़ी भाषियों द्वारा व्यापक रूप से {{IPA-en|triːˈfɑːlə|}} या {{IPA-en|triːˈfælə|}} के रूप में उच्चारित) का शाब्दिक अर्थ है "तीन फल".


==क्रिया-विधि==
हरड़ बड़ी एक भाग, आंवला एक भाग तथा बहेड़ा एक भाग , सबका अलग अलग महीन या कपड़छान चूर्ण करके एक में अच्‍छी तरह से मिला दें। इसे '''त्रिफला''' यानी तीन फलों के मिश्रण से बना चूर्ण कहते हैं।
न तो सक्रिय कारकों और न ही क्रिया-विधि की खास तौर पर पहचान की गई है. हालांकि, यह सुझाव दिया गया है यह ट्यूमर की बढ़त को नियंत्रि‍त करने में ईआरके (ERK) और पी53 (p53), की भूमिका को प्रभावित कर सकता हैं.<ref name="pmid18847491">{{cite journal |author=Shi Y, Sahu RP, Srivastava SK |title=Triphala inhibits both in vitro and in vivo xenograft growth of pancreatic tumor cells by inducing apoptosis |journal=BMC Cancer |volume=8 |issue= |pages=294 |year=2008 |pmid=18847491 |pmc=2576337 |doi=10.1186/1471-2407-8-294 |url=http://www.biomedcentral.com/1471-2407/8/294}}</ref>


==स्वास्थ्य संबंधी लाभ==
==त्रिफला के प्रयोग==


त्रिफला पाचन और भूख को बढ़ाने, लाल रक्त कोशिकाओं की संख्या में वृद्धि करने और शरीर में वसा की अवांछनीय मात्रा को हटाने में सहायता के लिए इस्तेमाल किया जाता है. मुंह में घुलने पर त्रि‍फला का उपयोग रक्त के जमाव और सिर दर्द को दूर करने के लिए किया जाता है. इसके अन्य फ़ायदों में रक्त शर्करा के स्तरों को बनाए रखने में मदद करना, और त्वचा के रंग और टोन में सुधार लाना शामिल हैं.
*त्रिफला मुख्यतः [[कब्ज]] की औषधि है।
*प्रतिदिन रात्रि को तांबे के लोटे में जल रखकर उसमें दो चम्मच त्रिफला चूर्ण डाल दें तथा ढँक कर रख दें। दूसरे दिन सुबह जल को कपड़े से छानकर आँखों में छीटें मारें। इससे आँखों की ज्योति मे वृद्धि होती है। साथ ही छन जाने के बाद बचे हुये त्रिफला के गीले चूर्ण को सिर पर अच्छी तरह से लगायें। लगभग आधे घंटे के बाद सिर धो लें। इससे केश मजबूत होते हैं तथा बाल नहीं पकते।


भारत में एक लोकप्रिय कहावत है, "माँ नहीं है? यदि आपके पास ''त्रिफला'' है, तो आपको चिंता करने की ज़रूरत नहीं है" इसका सार यह है कि जिस तरह मां अपने बच्चों की देखभाल करती है, उसी तरह ''त्रिफला'' शरीर के आंतरिक अंगों की देखभाल कर सकता है. त्रिफला की तीनों जड़ीबूटियां आंतरिक सफाई को बढ़ावा देती हैं, जमाव और अधिकता की स्थिति को कम करती हैं, और पाचन और पोषक तत्वों के सम्मिलन को बेहतर बनाती हैं.
== सन्‍दर्भ ग्रन्‍थ: ==


Puri (2003) में, ''आंवला'' के तहत ''रसायन'' में इस यौगिक मिश्रण के तीन महत्वपूर्ण घटकों (''आमलाकी, हरिताकी'' और ''बिभिता‍की'' ) से जुड़े विवादों, साथ ही आयुर्वेद में इसके उपयोग, इससे बनाई जाने वाली विभिन्न औषधियों, और उनके औषधीय और चिकित्सीय गुणों की चर्चा की गई है.<ref name="Puri2003">{{cite book|author=Harbans Singh Puri|title=Rasayana: ayurvedic herbs for longevity and rejuvenation|url=http://books.google.com/books?id=aQh25X9mzjAC&pg=PA30|accessdate=24 July 2010|year=2003|publisher=CRC Press|isbn=9780415284899|pages=30–}}</ref>
*[[आयुर्वेद सार संग्रह]],


==त्रिफला पर समकालीन अनुसंधान==
*[[सिद्ध योग संग्रह]]


===संभावित एंटीनियोप्लास्टिक (अर्बुद विरोधी) गुण===
== यह भी देखें ==
यह सुझाया गया है कि त्रिफला में संभावित रूप से कैंसर विरोधी गुण मौजूद हैं. <ref>संध्या, टी. एट अल. "त्रिफला के रूप में संभावित ड्रग के पारंपरिक आयुर्वेदिक उपन्यास विरोधी का एक निर्माण, ''कैंसर लेटर्स, अंक 231, प्रकाशन 2, 18 जनवरी 2006, पृष्ठ 206-214.'' </ref>


भारत के कई प्रमुख शैक्षणिक संस्थानों, जैसे [[भाभा परमाणु अनुसंधान केन्द्र|भाभा परमाणु अनुसंधान केन्द्र]] और [[जवाहरलाल नेहरू विश्‍वविद्यालय|जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय]] द्वारा हाल में की गई शोध से यह पता चला है कि एक महत्वपूर्ण विषनाशक और कैंसर विरोधी कारक के रूप में त्रिफला में अत्यंत उपयोगी औषधीय गुण हैं. <ref name="indolink">[http://www.indolink.com/displayArticleS.php?id=082106115647 कैंसर के रूप में सी. फ्रांसिस अस्सिसी द्वारा त्रिफला आयुर्वेद] ''indolink.com'' </ref>
[[आयुर्वेद]]


कैंसर लेटर पत्रि‍का के जनवरी 2006 के अंक में प्रकाशित एक अध्ययन "एक कैंसर विरोधी औषधि के रूप में पारंपरिक आयुर्वेदिक मिश्रण त्रिफला की क्षमता" में, [[भाभा परमाणु अनुसंधान केन्द्र|भाभा परमाणु अनुसंधान केंद्र]] के विकिरण जीवविज्ञान और स्वास्थ्य विज्ञान विभाग के वैज्ञानिकों ने पाया कि त्रिफला में ट्यूमर कोशिकाओं में साइटोटॉक्सिसिटी (कोशिका मृत्यु) प्रेरित करने की क्षमता है लेकिन सामान्य कोशिकाओं को वह इस रूप में प्रभावित नहीं करता. <ref name="indolink"></ref>
== बाहरी कडियां ==

*[http://jeevanurja.blogspot.com/2008/10/blog-post_21.html '''त्रिफला''' ] ( जीवन उर्जा, हिन्दी ब्लॉग )
इसी प्रकार, [[जवाहरलाल नेहरू विश्‍वविद्यालय|जवाहर लाल विश्वविद्यालय]] में विकिरण एवं कैंसर जीवविज्ञान प्रयोगशाला के जरनल ऑफ़ एक्सपेरिमेंट एंड क्लिनिकल कैंसर रिसर्च में प्रकाशित दिसंबर 2005 की एक रिपोर्ट के अनुसार त्रिफला पशुओं में ट्यूमर के मामलों को कम करने और एंटीऑक्सीडेंट स्थिति बढ़ाने में प्रभावी है. घटक. " <ref name="indolink"></ref>

[[File:Gallic acid.svg|thumb|गैलिक एसिड]]
गुरु नानक देव विश्वविद्यालय, [[अमृतसर|अमृतसर]] के वनस्पति विज्ञान विभाग की एक अन्य रिपोर्ट ने पाया कि कैंसर कोशिका-रेखाओं पर "त्रिफला" का साइटोटॉक्सिक प्रभाव बहुत अच्छा था और यह प्रभाव इस शोध में उपयोग की गई सभी कैंसर कोशिका रेखाओं पर एक समान था." फ़रवरी 2005 में जरनल ऑफ़ एथ्नोफ़ार्मेकोलॉजी में प्रकाशित परिणामों में यह कहा गया कि संभवतः "त्रिफला" में मौजूद एक प्रमुख पॉलीफ़ि‍नॉल, गैलिक अम्ल इन परिणामों का कारण हो सकता है. इन्हीं लेखकों ने पूर्व में यह बताया था त्रिफला में "अत्यधिक एंटीम्यूटेजेनिक/ एंटीकार्सिनोजेनिक क्षमता थी."

===संभावित एंटीऑक्सीडेंट गुण===
फरवरी 2006 में, डा. ए. एल. मुदलियार पोस्ट ग्रेजुएट इंस्टिट्यूट ऑफ़ बेसिक मेडिकल साइंसेस, मद्रास विश्वविद्यालय, तारामणि कैंपस, के वैज्ञानिकों ने बताया कि त्रिफला की पूरक खुराक देने से एंटीऑक्सीडेंट में शोर-जनित-तनाव से होने वाले परिवर्तनों और साथ ही चूहों में कोशिका-प्रेरित प्रतिरोधक प्रतिक्रिया की रोकथाम होती है. इसका अर्थ यह है कि त्रिफला एक तनाव-विरोधी कारक है. इस अध्ययन का निष्कर्ष यह था कि अपने एंटीऑक्सिडेंट गुणों के कारण त्रिफला शोर-जनित-तनाव से होने वाले परिवर्तनों को वापस ज्यों का त्यों कर देता है.<ref name="indolink"></ref>

ट्रॉम्बे स्थित [[भाभा परमाणु अनुसंधान केन्द्र|भाभा परमाणु अनुसंधान केंद्र]] के विकिरण रसायन विज्ञान और रासायनिक डायनेमिक्स प्रभाग में संचालित अध्ययनों में यह पता चला कि त्रिफला के तीनों घटक सक्रिय हैं और वे अलग-अलग परिस्थितियों में कुछ भिन्न गतिविधियों का प्रदर्शन करते हैं और इन अलग-अलग घटकों की संयोजित गतिविधि के कारण त्रिफला मिश्रण के और अधिक कार्यकुशल होने की अपेक्षा की जाती है. इस अध्ययन के परिणाम फ़ाइटोथेरेपी रिसर्च के जुलाई 2005 के अंक में प्रकाशित किए गए थे. दो महीने बाद, भाभा परमाणु अनुसंधान केंद्र के वैज्ञानिकों ने त्रिफला के एक घटक की रेडियो रक्षात्मक क्षमता की जानकारी दी.

इसी तरह के परिणाम कस्तूरबा मेडिकल कॉलेज, मणिपाल की ओर से जरनल ऑफ़ ऑल्टरनेटिव एंड कॉंप्लिमेंटरी मेडिसिन में प्रकाशित किए गए थे जहां वैज्ञानिकों ने दावा किया था कि "आयुर्वेदिक रसायन औषधि त्रिफला की मदद से विकिरण टॉलरेंस में 1.4 ग्रे गामा-किरणन की वृद्धि हुई". उन्होंने निष्कर्ष निकाला कि जहां त्रिफला से गैस्ट्रोइंटेस्टिनल और हीमोपोयटिक मृत्यु से सुरक्षा प्रदान की जा सकी, वहीं पशु 11 GY से अधिक किरणन के संपर्क में आने के बाद 30 दिनों से अधिक नहीं जी पाए. <ref>
{{cite journal | author=Jagetia G.C. ''et al.'' | title=Triphala, an ayurvedic rasayana drug, protects mice against radiation-induced lethality by free-radical scavenging ([http://www.ncbi.nlm.nih.gov/entrez/query.fcgi?cmd=Retrieve&db=PubMed&list_uids=15673991&dopt=Abstract online]) | journal= J Altern Complement Med | year=2004 | volume=10| issue=6 | pages=971–978 | doi=10.1089/acm.2004.10.971 | pmid=15673991}}
</ref>

==इन्हें भी देखें==
*[[आयुर्वेद|आयुर्वेद]]
*रसायन
*आयुर्वेद में अनुसंधान और नवप्रवर्तन

==संदर्भ==
{{reflist|2}}

[[Category:आयुर्वेदिक दवाएं]]


[[श्रेणी:वेद]]
[[श्रेणी:आयुर्वेद]]
[[श्रेणी:चिकित्सा पद्धति]]


[[en:Triphala]]
[[en:Triphala]]

[[lt:Trifala]]
[[lt:Trifala]]

06:10, 25 अगस्त 2010 का अवतरण

एम्ब्लिका ओफिशिनालिस

त्रिफला एक आयुर्वेदिक [1] जड़ी बूटी वाला [2] रासायनिक फ़ार्मुला है जिसमें तीन myrobalans को बीज निकाल कर समान मात्रा में लिया जाता है: अमलकी(आमला (Emblica officinalis),) बिभीतक(बहेडा) (Terminalia bellirica, और हरितकी (हरड़) (Terminalia chebula).

त्रिफला शब्द (त्रिफला , हिन्दी / संस्कृत में: त्रिफला [trɪˈpʰɐlaː] , अंग्रेज़ी भाषियों द्वारा व्यापक रूप से आईपीए: /triːˈfɑːlə/ या आईपीए: /triːˈfælə/ के रूप में उच्चारित) का शाब्दिक अर्थ है "तीन फल".

क्रिया-विधि

न तो सक्रिय कारकों और न ही क्रिया-विधि की खास तौर पर पहचान की गई है. हालांकि, यह सुझाव दिया गया है यह ट्यूमर की बढ़त को नियंत्रि‍त करने में ईआरके (ERK) और पी53 (p53), की भूमिका को प्रभावित कर सकता हैं.[3]

स्वास्थ्य संबंधी लाभ

त्रिफला पाचन और भूख को बढ़ाने, लाल रक्त कोशिकाओं की संख्या में वृद्धि करने और शरीर में वसा की अवांछनीय मात्रा को हटाने में सहायता के लिए इस्तेमाल किया जाता है. मुंह में घुलने पर त्रि‍फला का उपयोग रक्त के जमाव और सिर दर्द को दूर करने के लिए किया जाता है. इसके अन्य फ़ायदों में रक्त शर्करा के स्तरों को बनाए रखने में मदद करना, और त्वचा के रंग और टोन में सुधार लाना शामिल हैं.

भारत में एक लोकप्रिय कहावत है, "माँ नहीं है? यदि आपके पास त्रिफला है, तो आपको चिंता करने की ज़रूरत नहीं है" इसका सार यह है कि जिस तरह मां अपने बच्चों की देखभाल करती है, उसी तरह त्रिफला शरीर के आंतरिक अंगों की देखभाल कर सकता है. त्रिफला की तीनों जड़ीबूटियां आंतरिक सफाई को बढ़ावा देती हैं, जमाव और अधिकता की स्थिति को कम करती हैं, और पाचन और पोषक तत्वों के सम्मिलन को बेहतर बनाती हैं.

Puri (2003) में, आंवला के तहत रसायन में इस यौगिक मिश्रण के तीन महत्वपूर्ण घटकों (आमलाकी, हरिताकी और बिभिता‍की ) से जुड़े विवादों, साथ ही आयुर्वेद में इसके उपयोग, इससे बनाई जाने वाली विभिन्न औषधियों, और उनके औषधीय और चिकित्सीय गुणों की चर्चा की गई है.[4]

त्रिफला पर समकालीन अनुसंधान

संभावित एंटीनियोप्लास्टिक (अर्बुद विरोधी) गुण

यह सुझाया गया है कि त्रिफला में संभावित रूप से कैंसर विरोधी गुण मौजूद हैं. [5]

भारत के कई प्रमुख शैक्षणिक संस्थानों, जैसे भाभा परमाणु अनुसंधान केन्द्र और जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय द्वारा हाल में की गई शोध से यह पता चला है कि एक महत्वपूर्ण विषनाशक और कैंसर विरोधी कारक के रूप में त्रिफला में अत्यंत उपयोगी औषधीय गुण हैं. [6]

कैंसर लेटर पत्रि‍का के जनवरी 2006 के अंक में प्रकाशित एक अध्ययन "एक कैंसर विरोधी औषधि के रूप में पारंपरिक आयुर्वेदिक मिश्रण त्रिफला की क्षमता" में, भाभा परमाणु अनुसंधान केंद्र के विकिरण जीवविज्ञान और स्वास्थ्य विज्ञान विभाग के वैज्ञानिकों ने पाया कि त्रिफला में ट्यूमर कोशिकाओं में साइटोटॉक्सिसिटी (कोशिका मृत्यु) प्रेरित करने की क्षमता है लेकिन सामान्य कोशिकाओं को वह इस रूप में प्रभावित नहीं करता. [6]

इसी प्रकार, जवाहर लाल विश्वविद्यालय में विकिरण एवं कैंसर जीवविज्ञान प्रयोगशाला के जरनल ऑफ़ एक्सपेरिमेंट एंड क्लिनिकल कैंसर रिसर्च में प्रकाशित दिसंबर 2005 की एक रिपोर्ट के अनुसार त्रिफला पशुओं में ट्यूमर के मामलों को कम करने और एंटीऑक्सीडेंट स्थिति बढ़ाने में प्रभावी है. घटक. " [6]

गैलिक एसिड

गुरु नानक देव विश्वविद्यालय, अमृतसर के वनस्पति विज्ञान विभाग की एक अन्य रिपोर्ट ने पाया कि कैंसर कोशिका-रेखाओं पर "त्रिफला" का साइटोटॉक्सिक प्रभाव बहुत अच्छा था और यह प्रभाव इस शोध में उपयोग की गई सभी कैंसर कोशिका रेखाओं पर एक समान था." फ़रवरी 2005 में जरनल ऑफ़ एथ्नोफ़ार्मेकोलॉजी में प्रकाशित परिणामों में यह कहा गया कि संभवतः "त्रिफला" में मौजूद एक प्रमुख पॉलीफ़ि‍नॉल, गैलिक अम्ल इन परिणामों का कारण हो सकता है. इन्हीं लेखकों ने पूर्व में यह बताया था त्रिफला में "अत्यधिक एंटीम्यूटेजेनिक/ एंटीकार्सिनोजेनिक क्षमता थी."

संभावित एंटीऑक्सीडेंट गुण

फरवरी 2006 में, डा. ए. एल. मुदलियार पोस्ट ग्रेजुएट इंस्टिट्यूट ऑफ़ बेसिक मेडिकल साइंसेस, मद्रास विश्वविद्यालय, तारामणि कैंपस, के वैज्ञानिकों ने बताया कि त्रिफला की पूरक खुराक देने से एंटीऑक्सीडेंट में शोर-जनित-तनाव से होने वाले परिवर्तनों और साथ ही चूहों में कोशिका-प्रेरित प्रतिरोधक प्रतिक्रिया की रोकथाम होती है. इसका अर्थ यह है कि त्रिफला एक तनाव-विरोधी कारक है. इस अध्ययन का निष्कर्ष यह था कि अपने एंटीऑक्सिडेंट गुणों के कारण त्रिफला शोर-जनित-तनाव से होने वाले परिवर्तनों को वापस ज्यों का त्यों कर देता है.[6]

ट्रॉम्बे स्थित भाभा परमाणु अनुसंधान केंद्र के विकिरण रसायन विज्ञान और रासायनिक डायनेमिक्स प्रभाग में संचालित अध्ययनों में यह पता चला कि त्रिफला के तीनों घटक सक्रिय हैं और वे अलग-अलग परिस्थितियों में कुछ भिन्न गतिविधियों का प्रदर्शन करते हैं और इन अलग-अलग घटकों की संयोजित गतिविधि के कारण त्रिफला मिश्रण के और अधिक कार्यकुशल होने की अपेक्षा की जाती है. इस अध्ययन के परिणाम फ़ाइटोथेरेपी रिसर्च के जुलाई 2005 के अंक में प्रकाशित किए गए थे. दो महीने बाद, भाभा परमाणु अनुसंधान केंद्र के वैज्ञानिकों ने त्रिफला के एक घटक की रेडियो रक्षात्मक क्षमता की जानकारी दी.

इसी तरह के परिणाम कस्तूरबा मेडिकल कॉलेज, मणिपाल की ओर से जरनल ऑफ़ ऑल्टरनेटिव एंड कॉंप्लिमेंटरी मेडिसिन में प्रकाशित किए गए थे जहां वैज्ञानिकों ने दावा किया था कि "आयुर्वेदिक रसायन औषधि त्रिफला की मदद से विकिरण टॉलरेंस में 1.4 ग्रे गामा-किरणन की वृद्धि हुई". उन्होंने निष्कर्ष निकाला कि जहां त्रिफला से गैस्ट्रोइंटेस्टिनल और हीमोपोयटिक मृत्यु से सुरक्षा प्रदान की जा सकी, वहीं पशु 11 GY से अधिक किरणन के संपर्क में आने के बाद 30 दिनों से अधिक नहीं जी पाए. [7]

इन्हें भी देखें

  • आयुर्वेद
  • रसायन
  • आयुर्वेद में अनुसंधान और नवप्रवर्तन

संदर्भ

  1. Anne McIntyre (7 September 2005). Herbal treatment of children: Western and Ayurvedic perspectives. Elsevier Health Sciences. पपृ॰ 278–. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 9780750651745. अभिगमन तिथि 24 July 2010.
  2. Girdhani S, Bhosle SM, Thulsidas SA, Kumar A, Mishra KP (2005). "Potential of radiosensitizing agents in cancer chemo-radiotherapy". J Cancer Res Ther. 1 (3): 129–31. PMID 17998642.सीएस1 रखरखाव: एक से अधिक नाम: authors list (link)
  3. Shi Y, Sahu RP, Srivastava SK (2008). "Triphala inhibits both in vitro and in vivo xenograft growth of pancreatic tumor cells by inducing apoptosis". BMC Cancer. 8: 294. PMID 18847491. डीओआइ:10.1186/1471-2407-8-294. पी॰एम॰सी॰ 2576337.सीएस1 रखरखाव: एक से अधिक नाम: authors list (link)
  4. Harbans Singh Puri (2003). Rasayana: ayurvedic herbs for longevity and rejuvenation. CRC Press. पपृ॰ 30–. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 9780415284899. अभिगमन तिथि 24 July 2010.
  5. संध्या, टी. एट अल. "त्रिफला के रूप में संभावित ड्रग के पारंपरिक आयुर्वेदिक उपन्यास विरोधी का एक निर्माण, कैंसर लेटर्स, अंक 231, प्रकाशन 2, 18 जनवरी 2006, पृष्ठ 206-214.
  6. Jagetia G.C.; एवं अन्य (2004). "Triphala, an ayurvedic rasayana drug, protects mice against radiation-induced lethality by free-radical scavenging (online)". J Altern Complement Med. 10 (6): 971–978. PMID 15673991. डीओआइ:10.1089/acm.2004.10.971. Explicit use of et al. in: |author= (मदद); |title= में बाहरी कड़ी (मदद)