सामग्री पर जाएँ

"विधि दर्शन": अवतरणों में अंतर

मुक्त ज्ञानकोश विकिपीडिया से
छो HotCat द्वारा श्रेणी:विधि दर्शन जोड़ी
No edit summary
टैग: मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
 
पंक्ति 1: पंक्ति 1:
{{आधार}}
{{आधार}}
'''विधिदर्शन''' या '''विधि का दर्शनशास्त्र''' ( ''Philosophy of law'' ) [[दर्शनशास्त्र]] तथा [[विधिशास्त्र]] की एक शाखा है जो [[विधि]] की प्रकृति व स्वभाव और मानदंडको की अन्य प्रणालियों, विशेषतः [[नीतिशास्त्र]] और [[राजनीतिक दर्शन]] के साथ कानून के संबंधों की अन्वीक्षा करती है, विशेष रूप से मानवीय मूल्यों, दृष्टिकोण, प्रथाओं और राजनीतिक समुदायों के संबंध में।<ref>{{Cite web|url=https://www.britannica.com/topic/philosophy-of-law|title=Philosophy of law {{!}} Definition, Examples, History, & Facts {{!}} Britannica|website=www.britannica.com|language=en|access-date=2023-07-13}}</ref><ref name=":1">{{Cite web|url=https://www.iep.utm.edu/law-phil/|title=Philosophy of Law|last=Himma|first=Kenneth Einar|date=2019-05-15|website=The Internet Encyclopedia of Philosophy}}</ref> यह वह दर्शनविद्या है जो 'विधि क्या है?', 'कानूनी वैधता के मानदंड क्या है?', 'विधि तथा नैतिकता में क्या सम्बन्ध है?' आदि प्रश्नों पर विचार करती है। परंपरागत रूप से, कानून का दर्शन कानून के बारे में उन प्रस्तावों को स्पष्टतः व्यक्त करने और उनका बचाव करने से आगे बढ़ता है जो सामान्य और अमूर्त हैं - यानी, जो किसी विशेष समय में एक विशिष्ट विधिक प्रणाली के लिए नहीं (उदाहरण के लिए, 1900 में यूनाइटेड किंगडम) बल्कि सभी काल के सभी विधिक प्रणालियों व विधियों के लिए सच हैं। सभी कानूनों का अस्तित्व या शायद हर समय। कानून के दर्शन का उद्देश्य अक्सर कानून को मानदंडकों और अन्य प्रणालियों, जैसे नैतिकता (नीतिशास्त्र) या अन्य सामाजिक सम्मेलन मे भेद करना है। विधि के दर्शन और विधिशास्त्र को अक्सर एक दूसरे के स्थान पर उपयोग किया जाता है, हालांकि विधिशास्त्र कभी-कभी तर्क के उन रूपों व पद्धतियों को शामिल करता है जो अर्थशास्त्र या समाजशास्त्र में फिट होते हैं।<ref>{{cite book|last=Postema|first=Gerald J.|chapter=Economic Jurisprudence|date=2011|work=A Treatise of Legal Philosophy and General Jurisprudence: Volume 11: Legal Philosophy in the Twentieth Century: The Common Law World|pages=181–211|editor-last=Postema|editor-first=G.J.|publisher=Springer Netherlands|language=en|doi=10.1007/978-90-481-8960-1_5|isbn=9789048189601|title=A Treatise of Legal Philosophy and General Jurisprudence}}</ref><ref>{{Citation|last=Kornhauser|first=Lewis|title=The Economic Analysis of Law|date=2017|url=https://plato.stanford.edu/archives/fall2017/entries/legal-econanalysis/|encyclopedia=The Stanford Encyclopedia of Philosophy|editor-last=Zalta|editor-first=Edward N.|edition=Fall 2017|publisher=Metaphysics Research Lab, Stanford University|access-date=2019-05-17}}</ref>
'''विधिदर्शन''' (Philosophy of law) [[दर्शनशास्त्र]] तथा [[विधिशास्त्र]] की वह शाखा है जो 'कानून क्या है?', 'विधिक वैधता की कसौटी क्या है?', 'विधि तथा नैतिकता में क्या सम्बन्ध है?' आदि प्रश्नों पर विचार करती है।


[[श्रेणी:विधि]]
[[श्रेणी:विधि]]

16:22, 13 जुलाई 2023 के समय का अवतरण

विधिदर्शन या विधि का दर्शनशास्त्र ( Philosophy of law ) दर्शनशास्त्र तथा विधिशास्त्र की एक शाखा है जो विधि की प्रकृति व स्वभाव और मानदंडको की अन्य प्रणालियों, विशेषतः नीतिशास्त्र और राजनीतिक दर्शन के साथ कानून के संबंधों की अन्वीक्षा करती है, विशेष रूप से मानवीय मूल्यों, दृष्टिकोण, प्रथाओं और राजनीतिक समुदायों के संबंध में।[1][2] यह वह दर्शनविद्या है जो 'विधि क्या है?', 'कानूनी वैधता के मानदंड क्या है?', 'विधि तथा नैतिकता में क्या सम्बन्ध है?' आदि प्रश्नों पर विचार करती है। परंपरागत रूप से, कानून का दर्शन कानून के बारे में उन प्रस्तावों को स्पष्टतः व्यक्त करने और उनका बचाव करने से आगे बढ़ता है जो सामान्य और अमूर्त हैं - यानी, जो किसी विशेष समय में एक विशिष्ट विधिक प्रणाली के लिए नहीं (उदाहरण के लिए, 1900 में यूनाइटेड किंगडम) बल्कि सभी काल के सभी विधिक प्रणालियों व विधियों के लिए सच हैं। सभी कानूनों का अस्तित्व या शायद हर समय। कानून के दर्शन का उद्देश्य अक्सर कानून को मानदंडकों और अन्य प्रणालियों, जैसे नैतिकता (नीतिशास्त्र) या अन्य सामाजिक सम्मेलन मे भेद करना है। विधि के दर्शन और विधिशास्त्र को अक्सर एक दूसरे के स्थान पर उपयोग किया जाता है, हालांकि विधिशास्त्र कभी-कभी तर्क के उन रूपों व पद्धतियों को शामिल करता है जो अर्थशास्त्र या समाजशास्त्र में फिट होते हैं।[3][4]

  1. "Philosophy of law | Definition, Examples, History, & Facts | Britannica". www.britannica.com (अंग्रेज़ी में). अभिगमन तिथि 2023-07-13.
  2. Himma, Kenneth Einar (2019-05-15). "Philosophy of Law". The Internet Encyclopedia of Philosophy.
  3. Postema, Gerald J. (2011). "Economic Jurisprudence". प्रकाशित Postema, G.J. (संपा॰). A Treatise of Legal Philosophy and General Jurisprudence. A Treatise of Legal Philosophy and General Jurisprudence: Volume 11: Legal Philosophy in the Twentieth Century: The Common Law World (अंग्रेज़ी में). Springer Netherlands. पपृ॰ 181–211. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 9789048189601. डीओआइ:10.1007/978-90-481-8960-1_5.
  4. Kornhauser, Lewis (2017), "The Economic Analysis of Law", प्रकाशित Zalta, Edward N. (संपा॰), The Stanford Encyclopedia of Philosophy (Fall 2017 संस्करण), Metaphysics Research Lab, Stanford University, अभिगमन तिथि 2019-05-17