भरवाड

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तरनेतर, गुजरात से भरवाड़ समुदाय का एक सदस्य, पारंपरिक पोशाक पहने हुए।

भरवाड़ भारत के गुजरात राज्य में पाई जाने वाली एक हिंदू जाति है जिसे 'गोप' अथवा 'गोपालक' के रूप में जाना जाता है।[1] [2] [3]

इतिहास[संपादित करें]

ब्रिटिश इतिहासकार एन्थोवेन (1920) द्वारा बताए गए एक संस्करण के अनुसार,ये समुदाय एक मूल पौराणिक बात से जुड़ा हुआ है, कि गोकुल वृन्दावन मथुरा उनका मूल घर था। फिर वे राजस्थान के मेवाड़ और अंततः गुजरात चले गए जहाँ वे फैले हुए हैं।[4] भरवाड़ मूलत: नंद गोप के आठ भाईओ के वंशज माने जाते है,जैसे की भरवाड़ की कुछ शाखा(पेटा जाति) जादव, धरांगिया और माटिया ध्रुवनंद के वंशज है,वैसे ही दूसरी शाखाएं भी नंदवंशी है।[5]

वर्गीकरण[संपादित करें]

भारवाड़ों को गुजरात में अन्य पिछड़ा वर्ग के रूप में वर्गीकृत किया गया है,[6] अलेच, बाराडा और गिर के जंगलों को छोड़कर जहां वे अनुसूचित जनजाति हैं।[7]

सन्दर्भ[संपादित करें]

  1. Anonymous (May 2023). Report on the Prevalence & Characters of Leprosy. BoD – Books on Demand. पृ॰ 130. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 978-3-382-18913-6.
  2. Trivedi, Harshad R. (30 May 1961). The Mers of Saurashtra: An Exposition of Their Social. पृ॰ 27.
  3. Summary of Events of the Administration of the Gondal State:. 30 May 1892. पृ॰ 15.
  4. People of India: The scheduled tribes (अंग्रेज़ी में). Anthropological Survey of India. 1994. पृ॰ 113. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 978-81-85579-09-2.
  5. Sigrid Westphal-Hellbusch,Heinz Westphal. Hinduistische Viehzüchter im nord-westlichen Indien. Duncker und Humblot. पृ॰ 19. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 9783428437450.
  6. "National Commission for Backward Classes". ncbc.nic.in. अभिगमन तिथि 2024-03-21.
  7. "List of notified Scheduled Tribes" (PDF). Census India. पपृ॰ 18–19. मूल (PDF) से 7 November 2013 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 15 December 2013.