"बिटकॉइन": अवतरणों में अंतर

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आम भाषा में माइनिंग का मतलब ये होता है कि खुदाई के द्वारा खनिजो को निकालना जैसे की सोना कोयला आदि की माइनिंग। चूँकि बिटकॉइन का कोई भौतिक रूप नहीं है अतः इसकी माइनिंग परम्परागत तरीके से नहीं हो सकती। इसकी माइनिंग मतलब की बिटकॉइन का निर्माण करना होता है जो की कम्प्यूटर पर ही सम्भव है अर्थात बिटकॉइन को कैसे बनाएँ नई बिटकॉइन बनाने के तरीके को बिटकॉइन माइनिंग कहा जाता है।
आम भाषा में माइनिंग का मतलब ये होता है कि खुदाई के द्वारा खनिजो को निकालना जैसे की सोना कोयला आदि की माइनिंग। चूँकि बिटकॉइन का कोई भौतिक रूप नहीं है अतः इसकी माइनिंग परम्परागत तरीके से नहीं हो सकती। इसकी माइनिंग मतलब की बिटकॉइन का निर्माण करना होता है जो की कम्प्यूटर पर ही सम्भव है अर्थात बिटकॉइन को कैसे बनाएँ नई बिटकॉइन बनाने के तरीके को बिटकॉइन माइनिंग कहा जाता है।


बिटकॉइन माइनिंग का मतलब एक ऐसी प्रोसेस है जिसमें कम्प्यूटिंग पावर का इस्तेमाल कर ट्रांजैक्शन प्रोसेस किया जाता है, नेटवर्क को सुरक्षित रखा जाता है साथ ही नेटवर्क को सिंक्रोनाइज भी किया जाता है। यह एक बिट कम्प्यूटर सेंटर की तरह है पर यह डीसेण्ट्रलाइज सिस्टम है जिससे कि दुनिया भर में स्थित माइनरस कण्ट्रोल करते हैं। माइनर वो होते हैं जो माइनिंग का कार्य करते हैं अर्थात जो बिटकॉइन बनाते हैं अकेला एक इंसान माइनिंग को कण्ट्रोल नहीं कर सकता। बिटकॉइन माइनिंग की सफलता का ट्रांजैक्शन प्रोसेस करने पर जो पुरस्कार मिलता है वह बिटकॉइन होता है। बिटकॉइन माइनरस को माइनिंग के लिए  एक इस्पेशल हार्डवेयर या कहें तो एक शक्तिशाली कंप्यूटर जिसकी पप्रोसेसिंग तीव्र हो की आवश्यकता होती है इसके अलावा बिटकॉइन माइनिंग सॉफ्टवेयर की आवश्यकता होती है माइनरस अगर ट्रांजैक्शन को कंप्लीट कर लेते हैं तो उन्हें ट्रांजैक्शन फीस मिलती है यह ट्रांजैक्शन फीस बिटकॉइन के रूप में ही होती है एक नई ट्रांजैक्शन को कंफर्म होने के लिए उन्हें ब्लॉक में शामिल करना पड़ता है उसके साथ एक गणितीय प्रणाली होती है उससे हल करना होता है कि जो की बहुत कठिन होता है जिसकी पुष्टि करानी होता है प्रूफ़ करने के लिए आपको लाखों कैलकुलेशन प्रति सेकेण्ड करनी पड़ेगी उसके बाद ही ट्रांजैक्शन कंफर्म होगा। जैसे जैसे माइनरस हमारे इस नेटवर्क से जुड़ेंगे तो उन्हें माइनिंग करने के लिए रिक्त ब्लाक खोजने का तरीका और भी कठिन हो जाएगा |
बिटकॉइन माइनिंग का मतलब एक ऐसी प्रोसेस है जिसमें कम्प्यूटिंग पावर का इस्तेमाल कर ट्रांजैक्शन प्रोसेस किया जाता है, नेटवर्क को सुरक्षित रखा जाता है साथ ही नेटवर्क को सिंक्रोनाइज भी किया जाता है। यह एक बिट कम्प्यूटर सेंटर की तरह है पर यह डीसेण्ट्रलाइज सिस्टम है जिससे कि दुनिया भर में स्थित माइनरस कण्ट्रोल करते हैं। माइनर वो होते हैं जो माइनिंग का कार्य करते हैं अर्थात जो बिटकॉइन बनाते हैं अकेला एक इंसान माइनिंग को कण्ट्रोल नहीं कर सकता। बिटकॉइन माइनिंग की सफलता का ट्रांजैक्शन प्रोसेस करने पर जो पुरस्कार मिलता है वह बिटकॉइन होता है। बिटकॉइन माइनरस को माइनिंग के लिए  एक इस्पेशल हार्डवेयर या कहें तो एक शक्तिशाली कंप्यूटर जिसकी पप्रोसेसिंग तीव्र हो की आवश्यकता होती है इसके अलावा बिटकॉइन माइनिंग सॉफ्टवेयर की आवश्यकता होती है माइनरस अगर ट्रांजैक्शन को कंप्लीट कर लेते हैं तो उन्हें ट्रांजैक्शन फीस मिलती है यह ट्रांजैक्शन फीस बिटकॉइन के रूप में ही होती है एक नई ट्रांजैक्शन को कंफर्म होने के लिए उन्हें ब्लॉक में शामिल करना पड़ता है उसके साथ एक गणितीय प्रणाली होती है उससे हल करना होता है जो कि बहुत कठिन होता है जिसकी पुष्टि करानी होती है प्रूफ़ करने के लिए आपको लाखों कैलकुलेशन प्रति सेकेण्ड करनी पड़ेगी उसके बाद ही ट्रांजैक्शन कंफर्म होगा। जैसे जैसे माइनरस हमारे इस नेटवर्क से जुड़ेंगे तो उन्हें माइनिंग करने के लिए रिक्त ब्लाक खोजने का तरीका और भी कठिन हो जाएगा |


माइनिंग का काम वही लोग करते हैं जो जिनके पास के पास विशेष गणना वाले कम्प्यूटर और गणना करने की उचित क्षमता हो ऐसा नहीं होने पर माइनरस केवल इलेक्ट्रिसिटी ही खर्च करेगा और अपना समय बर्बाद करेगा।
माइनिंग का काम वही लोग करते हैं जो जिनके पास के पास विशेष गणना वाले कम्प्यूटर और गणना करने की उचित क्षमता हो ऐसा नहीं होने पर माइनरस केवल इलेक्ट्रिसिटी ही खर्च करेगा और अपना समय बर्बाद करेगा।
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बिटकॉइन के माइनिंग का प्रमुख उद्देश है बिटकॉइन नोड को सुरक्षित बनाना और नेटवर्क को छेड़छाड़ से दूर रखना। वर्तमान में यह सभी भौतिक मुद्राओ से कही अधिक मूल्यवान मुद्रा बन चुकी है।
बिटकॉइन के माइनिंग का प्रमुख उद्देश है बिटकॉइन नोड को सुरक्षित बनाना और नेटवर्क को छेड़छाड़ से दूर रखना। वर्तमान में यह सभी भौतिक मुद्राओ से कही अधिक मूल्यवान मुद्रा बन चुकी है।


बिटकॉइन के लेन देन के लिए बिटकॉइन एड्रेस का प्रयोग किया जाता है। कोई भी ब्लॉकचेन में अपना खता बनाकर इसके जरिये बिटकॉइन का लेन देन कर सकता है। बिटकॉइन की सबसे छोटी संख्या को सातोशी कहा जाता है। एक बिटकॉइन में 10 करोड़ सातोशी होते हैं। यानी 0.00000001 BTC को एक सातोशी कहा जाता है।
बिटकॉइन के लेन देन के लिए बिटकॉइन एड्रेस का प्रयोग किया जाता है। कोई भी ब्लॉकचेन में अपना खाता बनाकर इसके जरिये बिटकॉइन का लेन देन कर सकता है। बिटकॉइन की सबसे छोटी संख्या को सातोशी कहा जाता है। एक बिटकॉइन में 10 करोड़ सातोशी होते हैं। यानी 0.00000001 BTC को एक सातोशी कहा जाता है।


== बिटकॉइन का मूल्य ==
== बिटकॉइन का मूल्य ==

08:07, 18 मई 2021 का अवतरण

Bitcoin
Prevailing bitcoin logo
Denominations
बहुवचनbitcoins
चिह्न[a]
टिकर चिह्नBTC; XBT[b]
Subunits
11000millibitcoin[1]
11000000bit[3]
1100000000satoshi[4]
सिक्केUnspent outputs of transactions (in multiples of a satoshi)[5]:ch. 5
Development
निर्माताSatoshi Nakamoto
White paperBitcoin: A Peer-to-Peer Electronic Cash System
Reference implementationBitcoin Core
पहला संस्करण0.1.0 / 9 जनवरी 2009 (15 वर्ष पूर्व) (2009-01-09)
नया संस्करण0.15.1 / 11 नवम्बर 2017 (6 वर्ष पूर्व) (2017-11-11)
वेबसाइटbitcoin.org
Ledger
Ledger start3 जनवरी 2009 (15 वर्ष पूर्व) (2009-01-03)
समयचिह्न की योजनाProof-of-work (partial hash inversion)
हैश फंकशनSHA-256
IssuanceBlock reward[6][7]
ब्लॉक रिवार्ड₿12.5[c]
ब्लॉक समय10 minutes
ब्लॉक एक्सप्लोररblockchain.info
आपूर्ति परिसंचारी₿16,770,512 (29 दिसम्बर 2017 (2017 -12-29) के अनुसार )
आपूर्ति की सीमा₿21,000,000
Valuation
विनिमय दर (मुद्रा परिवर्तन)वृद्धि US$14.516 thousand (29 दिसम्बर 2017 (2017 -12-29) के अनुसार )
Market capवृद्धि US$694.53 billion (5 जनवरी 2021 (2021 -01-05) के अनुसार )
  1. The symbol was encoded in Unicode version 10.0 at position 20BF/BITCOIN SIGN in the Currency Symbols block in June 2017.[2]
  2. Compatible with ISO 4217.
  3. July 2016 to approximately June 2020, halved approximately every four years

बिटकाइन एक विकेन्द्रीकृत डिजिटल मुद्रा है। यह पहली विकेन्द्रीकृत डिजिटल मुद्रा है जिसका अर्थ है की यह किसी केन्द्रीय बैंक द्वारा नहीं संचालित होती। कम्प्यूटर नेटवर्किंग पर आधारित भुगतान हेतु इसे निर्मित किया गया है। इसका विकास सातोशी नकामोतो नामक एक अभियन्ता ने किया है। सातोशी का यह छद्म नाम है।

महत्वपूर्ण तथ्य

सामूहिक संगणक जाल पर पारस्परिक भुगतान हेतु कूट-लेखन द्वारा सुरक्षित यह एक नवीन मुद्रा है। अंकीय प्रणाली से बनाई गई यह मुद्रा अंकीय पर्स में ही रखी जाती है। इसकी शुरुआत 3 जनवरी 2009 को हुई थी। यह विश्व का प्रथम पूर्णतया खुला भुगतान तन्त्र है। दुनिया भर में 1 करोड़ से अधिक बिटकॉइन हैं। बिटकॉइन एक वर्चुअल यानी आभासी मुद्रा है, आभासी मतलब कि अन्य मुद्रा की तरह इसका कोई भौतिक स्वरुप नहीं है यह एक डिजिटल करेंसी है। यह एक ऐसी मुद्रा है जिसको आप ना तो देख सकते हैं और न ही छू सकते हैं। यह केवल इलेक्ट्रॉनिकली स्टोर होती है। अगर किसी के पास बिटकॉइन है तो वह आम मुद्रा की तरह ही सामान खरीद सकता है।

वर्तमान में संसार में बिटकॉइन बहुत लोकप्रिय हो रहा है। इसका आविष्कार  सातोशी नकामोतो नामक एक अभियन्ता ने 2008 में किया था और 2009 में ओपन सोर्स सॉफ्टवेयर के रूप में इसे जारी किया गया था। वर्तमान में लोग कम कीमत पर बिटकॉइन खरीद कर ऊँचे दामों पर बेच कर कारोबार कर रहे हैं।

आम डेबिट /क्रेडिट  कार्ड से भुगतान करने में लगभग दो से तीन प्रतिशत लेनदेन शुल्क लगता है, लेकिन बिटकॉइन में ऐसा कुछ नहीं होता है। इसके लेनदेन में कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं लगता है, इस वजह से भी यह लोकप्रिय होता जा रहा है। इसके अलावा यह सुरक्षित और तेज है  जिससे लोग बिटकॉइन स्वीकार करने के लिए प्रोत्साहित हो रहे हैं। किसी अन्य क्रेडिट कार्ड की तरह इसमें कोई क्रेडिट लिमिट नहीं होती है न ही कोई नगदी लेकर घूमने की समस्या है। खरीदार की पहचान का खुलासा किए बिना पूरे बिटकॉइन नेटवर्क के प्रत्येक लेन देन के बारे में पता किया जा सकता है। यह एकदम सुरक्षित और सुपर फास्ट है और यह दुनिया में कहीं भी कारगर है और इसकी कोई सीमा भी नहीं है।

अंग्रेजी में 3 मिनट में बिटकॉइन की जानकारी

ऐसे सैकड़ों हजारों वेबसाइट कम्पनी है जो बिटकोइन को स्वीकार कर रही हैं। प्लेन की टिकट, होटल रूम, इलेक्ट्रॉनिक्स, कार, कॉफी और किसी अन्य चीज के लिए भी पेमेण्ट कर सकते हैं। हर साल दुनिया में  $1 से लेकर एक मिलियन डॉलर तक इधर से उधर हो जाता है। वैसे भी पैसे लेने के लिए हम लोग बैंक और कई कम्पनी का सहारा लेते हैं यह सभी कम्पनियाँ हमारे भेजे हुए पैसे को हमारे लोगों तक पहुचाने के लिए अतिरिक्त राशि  लेती है और हमें उन पर भरोसा करना पड़ता है। वेस्टर्न यूनियन, मनी ग्राम और उन जैसी दूसरी कम्पनियाँ की मदद चाहिए होती है मगर  इस सुविधा को प्राप्त  करने के लिए कोई मंजूरी भी लेनी नहीं पड़ती है। आज भी कई लोगों के पास बैंकिंग सुविधा नहीं है, लेकिन उन लोगों की संख्या अधिक है जिनके पास इणृटरनेट के साथ सेल फोन है और यह इण्टरनेट के माध्यम से व्यापार नहीं कर सकते। लेकिन अब यह बिटकॉइन की वजह से ऐसा कर सकते हैं क्योंकि बिटकॉइन पर किसी व्यक्ति विशेष सरकार या कम्पनी का कोई स्वामित्व नहीं होता है। बिटकॉइन मुद्रा पर कोई भी सेण्ट्रलाइज कण्ट्रोलिंग अथॉरिटी नहीं है। आज बिटकॉइन काफी प्रसिद्ध है। इसे शक्ति उन हजारों लोगों से मिलती है जिनके पास विशेष कम्प्यूटर है जो नेटवर्क को शक्ति सम्पन्न बनाते हैं नेट पर विनिमय को सुरक्षित करते हैं और लेनदेन की जाँच करते हैं। इसे माइनिंग कहा जाता है।

बिटकॉइन माइनिंग

आम भाषा में माइनिंग का मतलब ये होता है कि खुदाई के द्वारा खनिजो को निकालना जैसे की सोना कोयला आदि की माइनिंग। चूँकि बिटकॉइन का कोई भौतिक रूप नहीं है अतः इसकी माइनिंग परम्परागत तरीके से नहीं हो सकती। इसकी माइनिंग मतलब की बिटकॉइन का निर्माण करना होता है जो की कम्प्यूटर पर ही सम्भव है अर्थात बिटकॉइन को कैसे बनाएँ नई बिटकॉइन बनाने के तरीके को बिटकॉइन माइनिंग कहा जाता है।

बिटकॉइन माइनिंग का मतलब एक ऐसी प्रोसेस है जिसमें कम्प्यूटिंग पावर का इस्तेमाल कर ट्रांजैक्शन प्रोसेस किया जाता है, नेटवर्क को सुरक्षित रखा जाता है साथ ही नेटवर्क को सिंक्रोनाइज भी किया जाता है। यह एक बिट कम्प्यूटर सेंटर की तरह है पर यह डीसेण्ट्रलाइज सिस्टम है जिससे कि दुनिया भर में स्थित माइनरस कण्ट्रोल करते हैं। माइनर वो होते हैं जो माइनिंग का कार्य करते हैं अर्थात जो बिटकॉइन बनाते हैं अकेला एक इंसान माइनिंग को कण्ट्रोल नहीं कर सकता। बिटकॉइन माइनिंग की सफलता का ट्रांजैक्शन प्रोसेस करने पर जो पुरस्कार मिलता है वह बिटकॉइन होता है। बिटकॉइन माइनरस को माइनिंग के लिए  एक इस्पेशल हार्डवेयर या कहें तो एक शक्तिशाली कंप्यूटर जिसकी पप्रोसेसिंग तीव्र हो की आवश्यकता होती है इसके अलावा बिटकॉइन माइनिंग सॉफ्टवेयर की आवश्यकता होती है माइनरस अगर ट्रांजैक्शन को कंप्लीट कर लेते हैं तो उन्हें ट्रांजैक्शन फीस मिलती है यह ट्रांजैक्शन फीस बिटकॉइन के रूप में ही होती है एक नई ट्रांजैक्शन को कंफर्म होने के लिए उन्हें ब्लॉक में शामिल करना पड़ता है उसके साथ एक गणितीय प्रणाली होती है उससे हल करना होता है जो कि बहुत कठिन होता है जिसकी पुष्टि करानी होती है प्रूफ़ करने के लिए आपको लाखों कैलकुलेशन प्रति सेकेण्ड करनी पड़ेगी उसके बाद ही ट्रांजैक्शन कंफर्म होगा। जैसे जैसे माइनरस हमारे इस नेटवर्क से जुड़ेंगे तो उन्हें माइनिंग करने के लिए रिक्त ब्लाक खोजने का तरीका और भी कठिन हो जाएगा |

माइनिंग का काम वही लोग करते हैं जो जिनके पास के पास विशेष गणना वाले कम्प्यूटर और गणना करने की उचित क्षमता हो ऐसा नहीं होने पर माइनरस केवल इलेक्ट्रिसिटी ही खर्च करेगा और अपना समय बर्बाद करेगा।

बिटकॉइन के माइनिंग का प्रमुख उद्देश है बिटकॉइन नोड को सुरक्षित बनाना और नेटवर्क को छेड़छाड़ से दूर रखना। वर्तमान में यह सभी भौतिक मुद्राओ से कही अधिक मूल्यवान मुद्रा बन चुकी है।

बिटकॉइन के लेन देन के लिए बिटकॉइन एड्रेस का प्रयोग किया जाता है। कोई भी ब्लॉकचेन में अपना खाता बनाकर इसके जरिये बिटकॉइन का लेन देन कर सकता है। बिटकॉइन की सबसे छोटी संख्या को सातोशी कहा जाता है। एक बिटकॉइन में 10 करोड़ सातोशी होते हैं। यानी 0.00000001 BTC को एक सातोशी कहा जाता है।

बिटकॉइन का मूल्य

बिटकॉइन का मूल्य कई चीजों में निर्भर होता है। उनमें से दो सबसे महत्वपूर्ण चीजें आपूर्ति और माँग है। बिटकॉइन सीमित संख्या में पाया जाता है। 2,10,00,000 बिटकॉइन ही माइन किया जा सकता है। ऐसे में अगर आपूर्ति से कम माँग हो तो बिटकॉइन का मूल्य घटता है और उल्टा होने पर इसका मूल्य बढ़ता है। भारत में बिटकॉइन का मूल्य सबसे अधिक 44,54,673 भारतीय रुपए था।

चेतावनी

भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा 24 दिसम्बर 2013 को बिटकॉइन जैसी वर्चुअल मुद्राओं के सम्बन्ध में एक प्रेस प्रकाशनी जारी की गयी थी। इसमें कहा गया था की इन मुद्राओं के लेन-देन को कोई अधिकारिक अनुमति नहीं दी गयी है और इसका लेन-देन करने में कईं स्तर पर जोखिम है। हाल ही में बिटकॉइनपर आर बी आई द्वारा लगाई गई रोक सुप्रीम कोर्ट की तरफ से हटाई गई है। [8] 1 फरवरी 2017 और 5 दिसम्बर 2017 को रिजर्व बैंक ने पुन: इसके बारे में सावधानी जारी की थी।[9]

आलोचना

कई अर्थशास्त्रियों द्वारा बिटकॉइन को पोंज़ी स्कीम घोषित किया गया है।[10]

उर्जा की खपत

बिटकॉइन की माइनिंग में उपयोग होने वाली बिजली के कारण भी इसकी आलोचना की गयी है। एक बिटकॉइन के संचालन सौदे में अनुमानित ३०० kwh बिजली लगती है जो ३६००० केतलियों में पानी गर्म करने में लगनी वाली उर्जा के बराबर है।[11]

सन्दर्भ

  1. Siluk, Shirley (2 जून 2013). "June 2 "M Day" promotes millibitcoin as unit of choice". CoinDesk. मूल से 7 अगस्त 2017 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 25 मई 2017.
  2. "Unicode 10.0.0". Unicode Consortium. 20 जून 2017. मूल से 20 जून 2017 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 20 जून 2017.
  3. Song, Jimmy (15 January 2018). "bips: Bitcoin Improvement Proposals". मूल से 9 जनवरी 2018 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 15 January 2018.
  4. Jason Mick (12 जून 2011). "Cracking the Bitcoin: Digging Into a $131M USD Virtual Currency". Daily Tech. मूल से 20 जनवरी 2013 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 30 सितम्बर 2012.
  5. Andreas M. Antonopoulos (April 2014). Mastering Bitcoin. Unlocking Digital Crypto-Currencies. O'Reilly Media. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 978-1-4493-7404-4.
  6. "Statement of Jennifer Shasky Calvery, Director Financial Crimes Enforcement Network United States Department of the Treasury Before the United States Senate Committee on Banking, Housing, and Urban Affairs Subcommittee on National Security and International Trade and Finance Subcommittee on Economic Policy" (PDF). fincen.gov. Financial Crimes Enforcement Network. 19 नवम्बर 2013. मूल (PDF) से 9 अक्टूबर 2016 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 1 जून 2014.
  7. Empson, Rip (28 मार्च 2013). "Bitcoin: How An Unregulated, Decentralized Virtual Currency Just Became A Billion Dollar Market". TechCrunch. AOL inc. मूल से 9 अक्टूबर 2016 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 8 अक्टूबर 2016.
  8. "प्रेस रिलीज़". भारतीय रिजर्व बैंक. मूल से 15 दिसंबर 2017 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 15 दिसम्बर 2017.
  9. "प्रेस रिलीज़". भारतीय रिजर्व बैंक. मूल से 15 दिसंबर 2017 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 15 दिसम्बर 2017.
  10. Clinch, Matt (10 मार्च 2014). "Roubini launches stinging attack on bitcoin". CNBC. मूल से 6 अक्टूबर 2014 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 2 जुलाई 2014.
  11. हार्न, एलेक्स. "Bitcoin mining consumes more electricity a year than Ireland" (अंग्रेज़ी में). थे गार्डियन. मूल से 27 नवंबर 2017 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 11 दिसम्बर 2017.