इतवार व्रत कथा

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इतवार व्रत कथा

इतवार व्रत नवग्रह में राजा की उपाधि से विभूषित सूर्य देव की कृपा दृष्टि और शुभता के लिए रखा जाता है। इतवार को रविवार के नाम से भी जाना जाता है, इसलिए इसे रविवार व्रत के नाम से भी जाना जाता है।

इंग्लिश भाषा में इतवार को सन्डे अर्थात Sunday के नाम से जाना जाता है, इसलिए इंग्लिश भाषा में इस व्रत को सन्डे फास्ट अर्थात Sunday Fast के नाम से जानते है।

जैसा कि हम जानते है नवग्रह परिवार में सूर्य, चंद्र, बुध, शुक्र, शनि, मंगल, बृहस्पति, राहु और केतु ग्रह आते है जिनका अपना अपना प्रभाव और महत्व है।

नवग्रह में सूर्य देवता को राजा माना जाता है। ज्योतिष शास्त्र में सूर्य ग्रह को आत्मा का कारक माना जाता है। सूर्य देवता अपने ही प्रकाश से प्रकाशित होते है और समस्त जगत को भी अपने प्रकाश से प्रकाशित करते है।

सूर्य देव को शासन और सत्ता का प्रतिनिधित्व करने वाला ग्रह माना जाता है। सूर्य देव की कृपा प्राप्ति के लिए रोज सुबह उगते हुए सूर्य देव को जल में थोड़ा सा पिसा हुआ लाल चंदन का पाउडर मिला कर अर्पित किया जाता है।

इसके अतिरिक्त इस दिन सूर्य देव का व्रत भी रखा जाता है जिसे इतवार व्रत कथा या रविवार व्रत कथा के नाम से जाना जाता है। रविवार व्रत कथा में एक बुढ़िया जो सूर्य देव की अनन्य भक्त थी और हर रविवार को सूर्य देव का व्रत रखती थी, के बारे में बताया गया है जिसे सूर्य देव की कृपा प्राप्ति हुई और राजसम्मान भी मिला।

सूर्य देव की कृपा दृष्टि के लिए सूर्य देव के मंत्र ॐ सूर्याय: नम: का जाप भी किया जा सकता है।