"बाल झड़ना": अवतरणों में अंतर

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* लंबी बीमारी, बड़ी शल्य क्रिया अथवा गंभीर संक्रमण जैसे बड़े शारीरिक तनाव से दो या तीन महीने के बाद बालों का झड़ना एक सामान्य प्रक्रिया है। हार्मोन स्तर में आकस्मिक बदलाव के बाद भी यह हो सकता है, विशेषकर स्त्रियों में शिशु को जन्म देने के बाद यह हो सकता है। साधारण तरीके से बाल झड़ते रहते हैं किन्तु गंजापन दिखाई नहीं देता है।
* लंबी बीमारी, बड़ी शल्य क्रिया अथवा गंभीर संक्रमण जैसे बड़े शारीरिक तनाव से दो या तीन महीने के बाद बालों का झड़ना एक सामान्य प्रक्रिया है। हार्मोन स्तर में आकस्मिक बदलाव के बाद भी यह हो सकता है, विशेषकर स्त्रियों में शिशु को जन्म देने के बाद यह हो सकता है। साधारण तरीके से बाल झड़ते रहते हैं किन्तु गंजापन दिखाई नहीं देता है।
* औषध के गौण प्रभावः बालों का झड़ना कुछेक औषधियों के खाने के कारण हो सकता है और यह अचानक पूरे सिर पर प्रभावी हो सकता है।
* औषध के गौण प्रभावः बालों का झड़ना कुछेक औषधियों के खाने के कारण हो सकता है और यह अचानक पूरे सिर पर प्रभावी हो सकता है।
* बहुत अधिक तनाव के कारण और चिंता करने के कारण भी बाल झड़ने लगते है ।

* चिकित्सकीय बीमारी के लक्षणः बालों का झड़ना चिकित्सा बीमारी का लक्षण हो सकता है जैसे कि अवटुग्रंथि (थाइरॉयड) विकृति, सेक्स हार्मोन में असंतुलन या गंभीर पोषाहार समस्या विशेषकर प्रोटीन, लौह, जस्ता या बायोटीन की कमी। यह कमी खान-पान में परहेज करने वालों और जिन महिलाओं को [[मासिक धर्म|मासिक]] धर्म में बहुत ज्यादा रक्त स्राव होता है उनमें यह आम है।
* चिकित्सकीय बीमारी के लक्षणः बालों का झड़ना चिकित्सा बीमारी का लक्षण हो सकता है जैसे कि अवटुग्रंथि (थाइरॉयड) विकृति, सेक्स हार्मोन में असंतुलन या गंभीर पोषाहार समस्या विशेषकर प्रोटीन, लौह, जस्ता या बायोटीन की कमी। यह कमी खान-पान में परहेज करने वालों और जिन महिलाओं को [[मासिक धर्म|मासिक]] धर्म में बहुत ज्यादा रक्त स्राव होता है उनमें यह आम है।
* सिर की त्वचा (खोपड़ी)- इसमें फफूंद-खोपड़ी में जब विशेष प्रकार की फफूंद से संक्रमण हो जाता है तो बीच बीच में बाल झड़ने लगते हैं। बच्चों में आमतौर पर बीच-बीच के बाल झड़ने का संक्रमण पाया जाता है।
* सिर की त्वचा (खोपड़ी)- इसमें फफूंद-खोपड़ी में जब विशेष प्रकार की फफूंद से संक्रमण हो जाता है तो बीच बीच में बाल झड़ने लगते हैं। बच्चों में आमतौर पर बीच-बीच के बाल झड़ने का संक्रमण पाया जाता है।

10:17, 26 सितंबर 2020 का अवतरण

गंजापन
वर्गीकरण व बाहरी संसाधन
Alopecia in 33 yr. old male.
अन्य नाम एलोपेशिया, हेयर लॉस
आईसीडी-१० L65.9
आईसीडी- 704.09
रोग डाटाबेस 14765
मेडलाइन+ 003246
एमईएसएच D000505

गंजापन, केशाभाव या बालों का झड़ना (अंग्रेज़ी: Hair loss या Alopecia) हल्के से लेकर सिर के पूरी तरह गंजा होने तक का हो सकता है। सामान्यतः हमारे लगभग 10 से 20 बाल हर दिन टूटते-झड़ते हैं। यदि इससे ज्यादा बाल झड़ते हैं, तो यह गंजेपन का विषय हो सकता है। यह भी देखा जा सकता है कि बाल पतले होने लगते है और एक या अधिक जगह पर गंजापन आ जाता है। बाल गिरने के कई अलग-अलग कारण होते है। चिकित्सा विज्ञान के आधार पर बालों का झड़ना कई प्रकार के हो सकते हैं:

  • लंबी बीमारी, बड़ी शल्य क्रिया अथवा गंभीर संक्रमण जैसे बड़े शारीरिक तनाव से दो या तीन महीने के बाद बालों का झड़ना एक सामान्य प्रक्रिया है। हार्मोन स्तर में आकस्मिक बदलाव के बाद भी यह हो सकता है, विशेषकर स्त्रियों में शिशु को जन्म देने के बाद यह हो सकता है। साधारण तरीके से बाल झड़ते रहते हैं किन्तु गंजापन दिखाई नहीं देता है।
  • औषध के गौण प्रभावः बालों का झड़ना कुछेक औषधियों के खाने के कारण हो सकता है और यह अचानक पूरे सिर पर प्रभावी हो सकता है।
  • बहुत अधिक तनाव के कारण और चिंता करने के कारण भी बाल झड़ने लगते है ।
  • चिकित्सकीय बीमारी के लक्षणः बालों का झड़ना चिकित्सा बीमारी का लक्षण हो सकता है जैसे कि अवटुग्रंथि (थाइरॉयड) विकृति, सेक्स हार्मोन में असंतुलन या गंभीर पोषाहार समस्या विशेषकर प्रोटीन, लौह, जस्ता या बायोटीन की कमी। यह कमी खान-पान में परहेज करने वालों और जिन महिलाओं को मासिक धर्म में बहुत ज्यादा रक्त स्राव होता है उनमें यह आम है।
  • सिर की त्वचा (खोपड़ी)- इसमें फफूंद-खोपड़ी में जब विशेष प्रकार की फफूंद से संक्रमण हो जाता है तो बीच बीच में बाल झड़ने लगते हैं। बच्चों में आमतौर पर बीच-बीच के बाल झड़ने का संक्रमण पाया जाता है।
  • हाइपोथायरॉएडिज़्म

वंशानुगत गंजापन

पुरुषों में जिस प्रकार बाल झड़ते रहते हैं अर्थात मांग से बालों का झड़ना और/या सिर के ऊपर से बालों का झड़ना, उसी प्रकार इसमें भी पुरुषों के बाल झड़ते हैं। इस प्रकार बालों का झड़ना आम है और यह किसी भी समय यहां तक कि किशोरावस्था में भी आरंभ हो सकता है। इसके मुख्यतः तीन कारण हैं-वंशानुगत गंजापन, पुरुष हार्मोन और बढ़ती हुई आयु। महिलाओं में, सिर के आगे के भाग को छोड़कर पूरे हिस्से के बाल झड़ने लगते हैं।

आधुनिक शोध

मई, २००९ में जापान में हुए एक शोध से ज्ञात हुआ है, कि मानवों में बाल झड़ने के लिए एक एसओएक्स २१ नामक जीन उत्तरदायी होता है।[1]

रोकथाम

तनाव कम कर, उचित आहार लेकर, बाल संवारने की उचित तकनीक अपनाकर और यदि संभव हो तो बालों को झड़ने से रोकनेवाली दवाइयों का उपयोग कर बालों के झड़ने की समस्या को रोका जा सकता है। फफूंद संक्रमण की वजह से बालों को झड़ने की समस्या को बालों की सफाई पर ध्यान देकर, दूसरों के ब्रश, कंघी, टोपी आदि का उपयोग न कर बचा जा सकता है। दवाइयों की सहायता से वंशानुगत गंजेपन के कुछ मामलों को रोका जा सकता है।


(1)- अरंडी के तेल का प्रयोग बालों के लिए बहुत अधिक फायदेमंद होता है । इसमें मौजूद अम्ल बालों के लिए बहुत अधिक फायदेमंद है।

(2)- अरंडी के तेल की संद्रता बहुत अधिक होती है उसे कम करने के लिए नारियल का तेल भी मिला सकते है।


सन्दर्भ

  1. साइंटिस्ट्स आइडेन्टिफाई जीन दैट मे एक्स्प्लेन हेयर लॉस Archived 2009-05-30 at the वेबैक मशीन तान ऐ लिन, २५ मई, २००९, रॉयटर्स

इन्हें भी देखें

बाहरी कड़ियाँ