"ऑटो एक्सपो": अवतरणों में अंतर

मुक्त ज्ञानकोश विकिपीडिया से
No edit summary
पंक्ति 3: पंक्ति 3:


==महोत्सव==
==महोत्सव==
यह भारत में अब तक का सबसे बड़ा ऑटो एक्सपो रहा। २००६ के ऑटो एक्सपो के मुकाबले इसमें कई चीजों में दोगुनी बढ़ोतरी दिखाई दी थी। जैसे, २००६ के मेले में १,१०० कंपनियों ने हिस्सा लिया था और २००८ में इनकी संख्या करीब २,२०० रही। इसी प्रकार २००६ में मेला ६५ हजार वर्ग मीटर में लगा था, और २००८ में इसकी जगह करीब १ लाख २० हजार वर्ग मीटर है। मेले में 25 से 30 नई कारें लॉन्च की गईं। यह मेला एशिया के सबसे बड़े ऑटो मेले शंघाई ऑटो शो को भी कई मामलों में टक्कर दे रहा था।<ref>{{ cite news | url = http://www.rttnews.com/sp/breakingnews.asp?item=37 | title = India's Auto Expo Kicks Off With World's Cheapest Car, 25 New Launches | date = 2008-01-10 | accessdate = 2008-01-10 | publisher = RTT News }}</ref> इस में 27 देशों के कारोबारी प्रतिनिधि और 28 देशों की कंपनियाँ यहां सम्मिलित हुई थीं। इसमें जर्मनी और चीन की भागीदारी खास थीं।
यह भारत में अब तक का सबसे बड़ा ऑटो एक्सपो रहा। २००६ के ऑटो एक्सपो के मुकाबले इसमें कई चीजों में दोगुनी बढ़ोतरी दिखाई दी थी। जैसे, २००६ के मेले में १,१०० कंपनियों ने हिस्सा लिया था और २००८ में इनकी संख्या करीब २,२०० रही। इसी प्रकार २००६ में मेला ६५ हजार वर्ग मीटर में लगा था, और २००८ में इसकी जगह करीब १ लाख २० हजार वर्ग मीटर है। मेले में २५ से ३० नई कारें लॉन्च की गईं। यह मेला एशिया के सबसे बड़े ऑटो मेले शंघाई ऑटो शो को भी कई मामलों में टक्कर दे रहा था।<ref>{{ cite news | url = http://www.rttnews.com/sp/breakingnews.asp?item=37 | title = India's Auto Expo Kicks Off With World's Cheapest Car, 25 New Launches | date = 2008-01-10 | accessdate = 2008-01-10 | publisher = RTT News }}</ref> इस में २७ देशों के कारोबारी प्रतिनिधि और २८ देशों की कंपनियाँ यहां सम्मिलित हुई थीं। इसमें जर्मनी और चीन की भागीदारी खास थीं।

==मुख्य आकर्षण==
==मुख्य आकर्षण==
इस मेले में ही [[टाटा मोटर्स]] की बहुचर्चित [[टाटा नैनो | लखटकिया कार]] को भी पेश किया गया था। [[मारुति]] की नई उतारी जानी वाली [[सुजुकी]]-[[ए-स्टार]] भी इसका खास आकर्षण रही। मेले के आयोजकों में [[ऑटोमोटिव कम्पोनेंट मैन्युफैक्चर्स एसोसिएशन]] (एक्मा) और [[भारतीय ऑटोमोबाइल निर्माता संघ]] (सियाम) शामिल थे। ऑटोमोटिव मिशन प्लान 2016 के तहत भारत का ऑटोमोबाइल उद्योग वर्तमान 45 अरब डॉलर से बढ़कर 145 अरब डॉलर पर पहुँच जाएगा और भारत की अर्थव्यवस्था में इसका योगदान मौजूदा पाँच प्रतिशत की तुलना में बढ़कर दोगुना करने का लक्ष्य था।
इस मेले में ही [[टाटा मोटर्स]] की बहुचर्चित [[टाटा नैनो | लखटकिया कार]] को भी पेश किया गया था। [[मारुति]] की नई उतारी जानी वाली [[सुजुकी]]-[[ए-स्टार]] भी इसका खास आकर्षण रही। मेले के आयोजकों में [[ऑटोमोटिव कम्पोनेंट मैन्युफैक्चर्स एसोसिएशन]] (एक्मा) और [[भारतीय ऑटोमोबाइल निर्माता संघ]] (सियाम) शामिल थे। ऑटोमोटिव मिशन प्लान 2016 के तहत भारत का ऑटोमोबाइल उद्योग वर्तमान 45 अरब डॉलर से बढ़कर 145 अरब डॉलर पर पहुँच जाएगा और भारत की अर्थव्यवस्था में इसका योगदान मौजूदा पाँच प्रतिशत की तुलना में बढ़कर दोगुना करने का लक्ष्य था।

07:48, 7 अप्रैल 2009 का अवतरण

ऑटो एक्स्पो २००८, भारतीय वाहन उद्योग का सबसे बड़ा आयोजन।

भारतीय वाहन उद्योग का सबसे बड़ा आयोजन नौंवा ‘ऑटो एक्स्पो’ (वाहन प्रदर्शनी) दिल्ली में हुआ। भारत दुपहिया वाहनों का दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा बाजार है। 12 हजार वर्गमीटर में ऑटो एक्स्पो का आयोजन हुआ था । इस मेले में ऑटोमोबाइल उद्योग से जुड़ी 2000 कंपनियों ने भाग लिया। इसमें 60 प्रतिशत भारतीय और 40 प्रतिशत विदेशी भागीदार थीं। मेला 17 जनवरी २००८ तक चला था। भारत के ऑटोमोबाइल उद्योग की प्रगति के प्रतीक आटो एक्सपो के नौवें संस्करण में विभिन्न वर्गों में 30 नए वाहनों को उतारा गया था।[1]

महोत्सव

यह भारत में अब तक का सबसे बड़ा ऑटो एक्सपो रहा। २००६ के ऑटो एक्सपो के मुकाबले इसमें कई चीजों में दोगुनी बढ़ोतरी दिखाई दी थी। जैसे, २००६ के मेले में १,१०० कंपनियों ने हिस्सा लिया था और २००८ में इनकी संख्या करीब २,२०० रही। इसी प्रकार २००६ में मेला ६५ हजार वर्ग मीटर में लगा था, और २००८ में इसकी जगह करीब १ लाख २० हजार वर्ग मीटर है। मेले में २५ से ३० नई कारें लॉन्च की गईं। यह मेला एशिया के सबसे बड़े ऑटो मेले शंघाई ऑटो शो को भी कई मामलों में टक्कर दे रहा था।[2] इस में २७ देशों के कारोबारी प्रतिनिधि और २८ देशों की कंपनियाँ यहां सम्मिलित हुई थीं। इसमें जर्मनी और चीन की भागीदारी खास थीं।

मुख्य आकर्षण

इस मेले में ही टाटा मोटर्स की बहुचर्चित लखटकिया कार को भी पेश किया गया था। मारुति की नई उतारी जानी वाली सुजुकी-ए-स्टार भी इसका खास आकर्षण रही। मेले के आयोजकों में ऑटोमोटिव कम्पोनेंट मैन्युफैक्चर्स एसोसिएशन (एक्मा) और भारतीय ऑटोमोबाइल निर्माता संघ (सियाम) शामिल थे। ऑटोमोटिव मिशन प्लान 2016 के तहत भारत का ऑटोमोबाइल उद्योग वर्तमान 45 अरब डॉलर से बढ़कर 145 अरब डॉलर पर पहुँच जाएगा और भारत की अर्थव्यवस्था में इसका योगदान मौजूदा पाँच प्रतिशत की तुलना में बढ़कर दोगुना करने का लक्ष्य था।


एक अनुमान के तहत वर्ष 2016 तक इस उद्योग में ढाई करोड़ रोजगार के अवसर पैदा होने की उम्मीद है। वर्तमान में उद्योग का 18 अरब डॉलर का निवेश इस दौरान दोगुने से अधिक करीब 40 अरब डॉलर तक पहुँच जाने की उम्मीद है। इस वर्ष मेले के बड़े भागीदार देशों में मुख्य थे:

कुल 29 देशों ने इस मेले में भाग लिया था। मेले के दौरान 1000 करोड़ रुपए का कारोबार हुआ। पिछले मेले 538 करोड़ रुपए का लेन-देन हुआ था। इस वर्ष दर्शकों की संख्या 10 लाख से बढ़कर 15 लाख तक अनुमानित रही ।

  • इस एक्सपो की शुरुआत मारुति सुजुकी कंपनी के स्टॉल हुई । इस दिन मारुति की सुजुकी-ए-स्टॉर नामक कार का विश्व प्रीमियर हुआ। इस एक्सपो के जरिये सुजुकी ए स्टॉर को पहली बार देश-दुनिया के सामने लाया। इसके साथ ही मारुति सुजुकी की कंपनी की स्प्लैश जिसकी कीमत 3.5 से 5 लाख के बीच होगी, का भी अनावरण किया गया। स्विफ्ट का सिडैन मॉडल भी इस एक्सपो में डिस्प्ले किया गया, जिसका नाम डिज़ायर था।
  • इस बार के एक्सपो में लक्जरी कार कंपनी बीएमडब्ल्यू पहली बार अपने मॉडल को एक्सपो के जरिये दुनिया के सामने लाई। एक्सपो में कंपनी की बीएमडब्ल्यू एम-थ्री की पूरी रेंज प्रदर्शित की गई। ऑडी कार कंपनी का नया कार मॉ़डल ऑडी ए-4 एक्सपो में दिखाई दिया।
  • इसके साथ ही रेसिंग कार के दीवानों को ऑडी आर-10 नामक नई रेसिंग कार के दर्शन भी इस एक्सपो में हुए। शेवरलेट कंपनी की शेवरलेट कैपटिवा भी इसी एक्सपो में लांच की गई। पंद्रह से सत्रह लाख रुपए के बीच की यह कार डीजल और पेट्रोल दोनों ही मॉडलों में उपलब्ध होगी।

छोटी कारें

टाटा मोटर्स की सफलता से प्रेरित होकर कई घरेलू और विदेशी कंपनियां ऑटो एक्सपो-2008 में छोटी कारों के बारे में घोषणा कीं। काफी दिनों से चर्चा में रही लखटकिया कार मेले का सबसे बड़ा आकर्षण होगी लेकिन इसके साथ ही कल - पुर्जे के सप्लायर भी प्रदर्शित किए गए।

ऑटो एक्सपो के इंडियन प्रीमियर में 9 जनवरी को फियेट ऑटो ग्रान्डे पुंटो और लिनिया के जरिए छोटी कार बनाने में अपने कौशल दिखाया। कंपनी दोनों कारों का निर्माण भारत में ही 2008 के अंत से आरंभ करने की योजना बना रही है। एक्सपो में कई कंपनियाँ अपनी कारों के ऐसे मॉडल लेकर आईं, जिन्हें वे भविष्य में बाजार में उतारने की योजना पर काम कर रही थीं। फिएट कंपनी भी भविष्य में लांच की जाने वाली कारों की एक लंबी श्रृंखला लेकर इस एक्सपो में आई। इसी तरह हुंडई, महिंद्रा एंड महिंद्रा, मित्सुबिशी जैसी कई नामी कार कंपनियाँ अपनी कारों के नए और बेहतर मॉडलों को इस एक्सपो में प्रदर्शित किया।

दुपहिया वाहन

इस ऑटो एक्सपो में चार पहिया वाहनों के अलावा दोपहिया गाड़ियों को भी खास जगह दी गई। होंडा कंपनी अपनी प्रसिद्ध दोपहिया गाड़ी होंडा एक्टिवा का इंप्रूव वर्जन होंडा लीड लेकर एक्सपो में आए थे।

बजाज, सुजुकी और हीरो होंडा जैसी कंपनियों के भी एक्सपो में कई भविष्य मॉडल थे। ये सभी कंपनियाँ अपने लोकप्रिय मॉडलों के आधुनिकतम संस्करण एक्सपो में प्रदर्शित कर गईं। लोकप्रिय बाइक कंपनी यामाहा की कई नेक्स्ट जेन शानदार बाइक भी इस एक्सपो में दिखाई दीं।

दोपहिया वाहन निर्माता यामाहा ने कहा है कि उसने इस साल बाइक के दो माडल आर-15 और एफजेड-150 लांच करने की योजना बनाई है।

यामाहा के कार्यकारी उपाध्यक्ष ताकाहिरो माएदा ने यहां कहा कि भारतीय बाजार में अपनी बिक्री बढ़ाने के लिए दो उत्पाद लांच करेंगे। आर-15 बहुत जल्दी लांच होगा जबकि एफजेड बाद में लांच किया जाएगा।

आटो एक्स्पो में दोनों बाइक प्रदर्शित की गई थी। कंपनी ने इस साल दो-तीन लाख बाइक बेचने की योजना बनाई है। पिछले साल कंपनी ने भारत में 1.2 लाख मोटरसाइकिल की बिक्री की थी। [3]

रोबो मण्डप

मेले में 7 तरह के नए और अनूठे मण्डप लगे थे। इनमें सबसे खास मण्डप रोबो मण्डप रहा। ऑटो इंडस्ट्री में रोबो नाम की मशीनों का इस्तेमाल होता है। गाड़ियों के छोटे-छोटे पुर्जे आपस में जोड़ने, वेल्डिंग, कारों में शीशे लगाने, नट-बोल्ट कसने जैसे बारीक और संजीदा कामों में रोबो मशीनों की मदद ली जाती है। ऐसी मशीनों में हाथ बने होते हैं और ये दिखने में रोबॉट जैसे लगते हैं। इसी वजह से इन्हें रोबो कहा जाता है। रोबो मण्डप में ऐसी ही मशीनों की नुमाइश की गई थी। ऑल्टरनेटिव फ्यूल (वैकल्पिक ईंधन) पर भी एक खास मण्डप होगा। इस मण्डप में ऐसे ईंधन पेश किए गए, जो जिनका इस्तेमाल दुनिया भर में डीजल और पेट्रोल के विकल्प के तौर पर होता है। इसी तरह डीजल मण्डप, कलपुर्जे से जुड़ा मण्डप और डिजाइन से संबंधित खास मण्डप थे।


कॉन्सेप्ट कारें

मेले में कुछ कंपनियों ने कॉन्सेप्ट कारें भी प्रदर्शित कीं। इनमें टाटा की लखटकिया कार के अलावा टाटा की एक और कॉन्सेप्ट कार थी। जनरल मोटर्स (जीएम), मारुति सुजूकी की कॉन्सेप्ट कारें भी दिखाई दी। बजाज ऑटो ने भी अपनी एक नई कमर्शल वहीकल प्रदर्शित की। इनके अलावा टीवीएस ने पहली बार अपनी विवादित बाइक फ्लेम प्रदर्शित की। मेले में पहली बार इलेक्ट्रिक वाहन भी दिखाई दिए।

अंतर्राष्ट्रीय संगठनों की भागीदारी

कई अंतर्राष्ट्रीय ऑटो संगठन इस मेले में भागीदारी कर रहे थे। इसमें पहली बार ऑर्गनाइजेशन ऑफ इंटरनैशनल कार असेंबलर्स (ओआईसीए/ओएका) ने भाग लिया। इस संगठन का मुख्यालय पैरिस में है और यह दुनिया का सबसे प्रतिष्ठित ऑटो संगठन है। ओएका ने 9वें दिल्ली ऑटो एक्सपो को अपनी मान्यता भी दी है। इस मान्यता से अंतर्राष्ट्रीय ऑटो शो में दिल्ली ऑटो एक्सपो की पहचान मजबूत होगी। ओएका के अलावा जापान का ऑटो संगठन जामा, कोरिया का कामा, एसोसिएशन ऑफ यूरोपियन कार असेंबलर्स समेत कई और ऑटो संगठनों भी मेले में सम्मिलित हुए।

इन्हें भी देखें

बाहरी सूत्र

संदर्भ

  1. हिन्दी मीडिया
  2. "India's Auto Expo Kicks Off With World's Cheapest Car, 25 New Launches". RTT News. 2008-01-10. अभिगमन तिथि 2008-01-10.
  3. जागरण