वार्ता:भीमराव आम्बेडकर
मुझे इस पृष्ठ का नाम भीमराव अम्बेडकर से बाबासाहेब आंबेडकर या बाबासाहब आंबेडकर चाहता हूँ. उदाहरण, जिस तरह मोहनदास करमचंद गांधी पृष्ठ का नाम महात्मा गांधी बदल दिया है। भीमराव आंबेडकर को बाबासाहेब ये नाम या उपाधी लोगों द्वारा दी गई है और आज संपूर्ण भारत और विश्व भी उनके बाबासाहेब नाम से परिचीत भी है। इसलिए मैं भीमराव आंबेडकर पृष्ठ नाम 'बाबासाहेब आंबेडकर' चाहता हूँ. बाबासाहेब का उपनाम आंबेडकर या आम्बेडकर है, न की अम्बेडकर या अंबेडकर। अंबेडकर लिखना ('आ' की जगह 'अ' लिखना) सही उपनाम की जानकारी न होना दर्शाता है। आंबेडकर को अंबेडकर या अम्बेडकर लिखना गलत है। संदेश हिवाळे (वार्ता) 05:58, 25 जनवरी 2017 (UTC)
भीमराव अम्बेडकर[संपादित करें]
इस लेख में डॉ॰ आंबेडकर के अन्य नाम के आगे और डॉ॰ भीमराव आंबेडकर ‘.....’ नाम से प्रसिद्ध है, इसमें बाबासाहेब शब्द इस्तेमाल करना चाहिए। जिसे दो विकिपीडियन्स बार बार बदलकर भीमराव ही कर रहे है।
इस लेख में बाबासाहेब शब्द को हर जगह भीमराव में बदल दिया गया है, इससें लेख जगह बेचिदा हो गया है। संदेश हिवाळे (वार्ता) 12:23, 9 फ़रवरी 2017 (UTC)
- सदस्य:संदेश हिवाळे जी के मत से मै सहमत हुं| बी.आर. आम्बेडकर इस नाम कि जगह उचित शब्द डॉ बाबासाहेब आंबेडकर उचित है| हिन्दी विकिपीडिया प्रचालक कृपया इसपर ध्यान दे|
प्रसाद साळवे (वार्ता) 21:37, 18 फ़रवरी 2017 (UTC)
धन्यवाद प्रसाद जी, भीमराव अम्बेडकर या बी आर अम्बेडकर शिर्षक की की जगह बाबासाहेब आम्बेडकर या डॉ॰ बाबासाहेब आम्बेडकर लेख शिर्षक होना चाहिए, क्योंकि भारत में वे यही नाम से सर्वाधिक प्रसिद्ध है। संदेश हिवाळे (वार्ता) 17:45, 23 फ़रवरी 2017 (UTC)
डॉ.बाबासाहेब अम्बेडकर मराठवाडा विश्वविद्यालय[संपादित करें]
सदस्य आर्याजी आपसे विनंती है कि आप http://bamua.digitaluniversity.ac/ इस वेबसाईट को जरूर देखे। मै औरंगाबाद स्थित हुं और इस विश्वविद्यालय के नाम से परिचित हुं। कृपया आप से अनुरोध है कि मेरा संपादन वेबसाईट देखकर बदले. Salveramprasad (वार्ता) 13:50, 23 फ़रवरी 2017 (UTC)
- मेरे वार्त्ता पृष्ठ पर दिये गए सन्देश के सन्दर्भ में लिख रहा हूं,
- लेख में जो नाम शीर्षक में लिखा है, उसमें तो डॉ (उपाधि) प्रयोग नहीं कर सकते हैं। हां लेख के जिस उपशीर्षक में उन्हें डॉक्टरेट की उपाधि मिलने का प्रसंग आता हो, उसमें मात्र एक बार डॉ/डॉक्टर लिख सकते हैं। ये विश्वकोश की नीति है। शेष स्थानों पर भि आपको पूरा नाम प्रयोग करने की आवश्यकता नहीं है, केवल आम्बेडकर, भीम या भीम राव; इन्हें अदला बदली कर प्रयोग करें। बाल्यकाल के लिये बालक भीम प्रयोग कर सकते हैं।
- लेख में जिस स्थान पर उन्हें लोगों द्वारा बाबासाहेब कहा जाने की बात हो, वहां ये शब्द १-२ बार प्रयोग कर सकते हैं। (नीतिगत)
- विश्वविद्यालय के नाम में अवश्य आप पूरा नाम लिख सकते हैं, इसलिये क्योंकि वि.वि का पूरा नाम वही है। फिर भी आप स्वयं देखें कि विवि के लेख में पूरे नाम की पुनरावृत्ति क्या अच्छी लगेगी, अतएव हम कही विश्वविद्यालय, तो कहीं आम्बेडकर विश्वविद्यालय, आदि से काम लेते हैं। अच्छे साहित्य का ये भी एक गुण है कि आप शब्दों की पुनरावृत्ति से बचें।
- किन्तु वि.वि के नाम का उद्धरण देकर आप बाबासाहेब के नाम के लेख में प्रत्येक बार पूरा नाम नहीं लिख सकते हैं, न तो ये विश्वकोश की नीतिगत ही है, न ही ये साहित्य की दृष्टि से ही संगत होगा। हालांकि ये ध्यानयोग्य है कि हम सब भी जानते हैं कि वे डॉ एवं बाबासाहेब दोनों ही विशेषणों/उपाधियों से अलंकृत थे- इस बात में किसी को भी कोई सन्देह या परहेज नहीं है, न ही होगा।
- इस प्रकार यही कहूंगा कि पुनरावृत्ति से बचें, डॉ, बाबासाहेब को लेख में एक बार सबसे आरम्भ में कोष्ठक में (...... भी कहा जाता है/ नाम से प्रसिद्ध हैं) लिख सकते हैं, तथा एक बार जब इन शब्दों का प्रसंग आये, तब। यहाँ कोई किसी व्यक्तिविशेष से दुश्मनी या दोस्ती नहीं रखता है, न चाहिये ही। विश्वकोश में सभी लोगों को एक समान ही व्हेटेज देनी चाहिये, हाँ भगवान, पैगम्बर, आदि की बात छोड़ दीजिये। ठीक वैसे ही जैसे कि आम, गन्ने व नीम और करेले के विश्वकोश में एक समान देखा जाता है। शेष जैसी सम्मति।
- आशीष भटनागरवार्ता 17:06, 23 फ़रवरी 2017 (UTC)
भीमराव अम्बेडकर[संपादित करें]
भीमराव अम्बेडकर लेख का नाम बिना चेतावणी बी आर अम्बेडकर में बदल दिया गया है, जैसे डॉ॰ आंबेडकर को विदेशी हस्ती हो। अंग्रेजी लेखों में ऐसे शिर्षक का उपयोग अच्छा लगता है, हिन्दी पृष्ठ में तो बाबासाहेब का संपूर्ण नाम उचित रहेगा। बाबासाहेब का सरनेम आम्बेडकर है (अम्बेडकर नहीं) जिसे भारत विश्वकोश में बाबासाहेब के लेख में सही लिखा है।
लेख में हर जहग बाबासाहेब को भीमराव में बदलने से जहां मूल बाबासाहेब शब्द ही लागू होता हो वहां भी भीमराव बनने से लेख की योग्यता बेशक कम हुई है, इसमें कृपया सुधार करें। संदेश हिवाळे (वार्ता) 17:40, 23 फ़रवरी 2017 (UTC)
बड़े बदलाव[संपादित करें]
इस लेख में बड़े बदलाव किए जा रहे हैं और बहुत से अनावश्यक विस्तार को हटकर पुनः लिखने की आवश्यकता है। पाठ हटाया जाएगा और फिर से लिखा जाएगा। पुराना पाठ मेरे प्रयोगपृष्ठ पर ले जाया गया है। यहाँ अनावश्यक विस्तार को हटकर पुराने पाठ से मुद्दो को विकि लेखनशैली के अनुसार लिखा जाएगा। इस कार्य में कुछ दिन लग सकते है। जब तक बड़े सम्पादन वाला साँचा है तब तक कोई भी सदस्य इसमे कुछ भी बदलाव न करें। धन्यवाद।--☆★आर्यावर्त (✉✉) 11:17, 31 मार्च 2017 (UTC)
क्या प्रचालक इस पर ध्यान देंगे[संपादित करें]
स्थानान्तरण अनुरोध 14 मई 2018[संपादित करें]
- नीचे इस पृष्ठ के स्थानान्तरण अनुरोध पर हुई चर्चा का परिणाम है।कृपया इसे न बदलें अन्य चर्चायें नीचे नए अनुभाग बना कर की जा सकती हैं। इस चर्चा में कोई परिवर्तन न करें।
स्थानान्तरण अनुरोध का परिणाम निम्नलिखित रहा: चर्चा पहले ही समाप्त हो चुकी है। बंद किया। --SM7--बातचीत-- 15:08, 25 नवम्बर 2018 (UTC)
![]() |
इस अनुभाग में यह प्रस्तावित किया गया था कि भीमराव आम्बेडकर का नाम बदलाव और स्थानांतरण भीमराव आंबेडकर पर कर दिया जाये।
यह चर्चा समाप्त हो चुकी है। |
बी आर अम्बेडकर → भीमराव आंबेडकर – मैंने पहले भी बाबासाहब के सही उपनाम की चर्चा इस वार्ता पृष्ठ पर की है। डॉ॰ बाबासाहब आंबेडकर का मूल नाम भीमराव आंबेडकर है, (पिता का नाम: रामजी) किंतु हिन्दी भाषा में उनके उपनाम का प्रचलन गलत ढंग से है, हिंदी में उनका उपनाम अम्बेडकर (अन्य: अंबेडकर/ अंबेदकर/अम्बेदकर) लिखा जाता है, जो की गलत है (इसे आंबेडकर होना चाहिए)। इसका कारण शायद यह है की, उनके मुल नाम का अनुवाद अंग्रेजी में 'Bhimrao Ambedkar' है, और लोगों ने अंग्रेजी से ही अनुवाद कर 'भीमराव अंबेडकर' या 'भीम राव अम्बेडकर' अनुवाद करना शुरू कर किया, जो की गलत है। बी आर आंबेडकर यह अंग्रेजी में ही बेहतर लगता है, हिन्दी में ऐसे नहीं चाहिए। आंबेडकर जी ने अपना नाम मराठी एवं हिन्दी में 'भीमराव रामजी आंबेडकर' ऐसा ही लिखा है। आ... को अ... नहीं लिखना चाहिए। उनकी सही, उनके पत्रों में यही उनका नाम है। योगी सरकार ने भी उनके भी डॉ॰. भीमराव अम्बेडकर को डॉ॰ भीमराव रामजी आंबेडकर (अम्बेडकर से आंबेडकर) में बदल दिया है। राज्यपाल राम नाईक का यह बनाय देखिए। और यह (मराठी में) भी जरूर पढिए। इन दो स्त्रोतों में बाबासाहब के सही नाम का अच्छा विश्लेषण है। मेरे पास अन्य भी सन्दर्भ है। हिन्दी में आं को आम् (आधा म) लिखना सही वर्तनी है तो भीमराव आम्बेडकर यह शीर्षक भी उचित रहेगा। अंततः लेख का शीर्षक 'भीमराव आंबेडकर' या 'भीमराव आम्बेडकर' किजिए, यही मेरी विनती है। धन्यवाद। — संदेश हिवाळे (वार्ता) 10:11, 14 मई 2018 (UTC)
- @संदेश हिवाळे: जी, आपके द्वारा दिये गए संदर्भ सही प्रतीत होते हैं...हालाँकि मुझे मराठी कीच खासी अच्छी नहीं आती है, मगर वो लेख भी मैन पढ़ के समझने की कोशिश की, खैर हिंदी वाले संदर्भ से तो ये प्रतीत होता है कि आम्बेडकर को अम्बेडकर लिखना भी हिंदी भाषा का अनेकों सार्वभौमिक त्रुटियों में से एक है। मेरे खयाल से इस लेख के नाम को बदल के भीमराव आम्बेडकर कर देना चाहिए। क्या आप और भी कुछ संदर्भ प्रदान कर सकते हैं? जिसमें इस विषय पर कुछ लिखा गया हो या केवल उनके नाम की सही वर्तनी (आम्बेडकर) लिखा गया हो? धन्यवाद🙏
निरपराधवत् मृदुरोमकः वार्ता 12:47, 5 जून 2018 (UTC)
- @Innocentbunny: जी, आपके इस संदेश के लिए धन्यवाद तथा मेरा मोबाईल खराब होने के कारण मुझे यहाँ इतना विलंब हुआ इसके लिए क्षमापात्री हूँ। लेख के नाम को बदल के भीमराव आम्बेडकर कर देने के लिए मेरा समर्थन हैं। मैं इसके अन्य संदर्भ भी प्रस्तुत करूंगा, फिलहाल यह १ २ दो संदर्भ जिनमें उनका नाम "आम्बेडकर" हैं। धन्यवाद।
- संदेश हिवाळे (वार्ता) 19:53, 17 जून 2018 (UTC)
- @Innocentbunny: मुझे हिन्दी के आंबेडकर नाम के कई सन्दर्भ मिले हैं। इन्हें दू क्या? कृपया, इसपर जल्द निर्णय लिजीये।संदेश हिवाळे (वार्ता) 12:10, 22 जून 2018 (UTC) संदेश हिवाळे (वार्ता) 12:10, 22 जून 2018 (UTC)
- हालाँकि मैंने नाम बदल दिया है, मगर भविष्य में संदर्भ के लिए बेहतर होगा कि आप हिंदी वाले भी कुछ संदर्भ यहाँ दे दें।🙏
निरपराधवत् मृदुरोमकः वार्ता 19:38, 22 जून 2018 (UTC)
- हालाँकि मैंने नाम बदल दिया है, मगर भविष्य में संदर्भ के लिए बेहतर होगा कि आप हिंदी वाले भी कुछ संदर्भ यहाँ दे दें।🙏
- @Innocentbunny: मुझे हिन्दी के आंबेडकर नाम के कई सन्दर्भ मिले हैं। इन्हें दू क्या? कृपया, इसपर जल्द निर्णय लिजीये।संदेश हिवाळे (वार्ता) 12:10, 22 जून 2018 (UTC) संदेश हिवाळे (वार्ता) 12:10, 22 जून 2018 (UTC)
लेख नाम बदलने के लिये धन्यवाद, मैं संदर्भ जोडुंगा।संदेश हिवाळे (वार्ता) 02:26, 23 जून 2018 (UTC) संदेश हिवाळे (वार्ता) 02:26, 23 जून 2018 (UTC)
- ऊपर हुई चर्चा एक स्थानान्तरण अनुरोध का पुरालेख है। इसमें कोई बदलाव न करें आगे की चर्चाएँ, नीचे नए आनुभाग बना कर शुरू की जा सकती हैं, इस अनुभाग में कोई बदलाव नहीं किया जाना चाहिए
लेख का काम पुरा हुआ[संपादित करें]
@आर्यावर्त: जी व @Innocentbunny: जी
अब यह लेख मैंने पूर्ण कर दिया हैं, लेख में कई संदर्भ एवं अंग्रेजी लेख का पुरा अनुवाद किया गया हैं। {{स्रोत कम}}, {{उद्धरण कम}} व {{बड़े सम्पादन}} यह साँचे हटाये जा सकते हैं? -- संदेश हिवाळे (वार्ता) 18:53, 11 अगस्त 2018 (UTC)
अवैध स्त्रोत/संदर्भ सुझाव[संपादित करें]
- @संदेश हिवाळे: आपने मेरा संपादन बिना किसी संवाद के बिना हटाया है, मेरा आपसे ये अनुरोध हे की, पहले यह निती देख ले, वि:विश्वसनीय स्रोत उसके बाद ही आप कोई भी संदर्भ जोडीये। धन्यवाद -- QueerEcofeminist "cite! even if you fight"!!! [they/them/their] 09:00, 3 मई 2019 (UTC)
- @QueerEcofeminist: आपके द्वारा दिया गया वि:विश्वसनीय स्रोत में संपादक विश्वसनीय गैर-शैक्षणिक स्रोतों से सामग्री का उपयोग कर सकते हैं, विशेष रूप से जब यह सम्मानित मुख्यधारा प्रकाशनों में दिखाई देती है। अन्य विश्वसनीय स्रोतों में शामिल हैं: १) विश्वविद्यालय स्तर की २) पाठ्यपुस्तक ३) सम्मानित प्रकाशन गृहों द्वारा प्रकाशित पुस्तक ४) पत्रिकाएं ५) दैनिकी ६)मुख्यधारा के अखबार ये मौजूद है।
- @आशीष भटनागर और आर्यावर्त: जी, तो क्या लेख में सन्दर्भ के रूप में विश्वसनीय पत्रिकाएं भी इस्लेमाल नहीं हो सकती ? संदेश हिवाळे (वार्ता) 09:11, 3 मई 2019 (UTC)
- @आशीष भटनागर, आर्यावर्त, और संदेश हिवाळे: वेलीवाडा और फोरवर्ड प्रेस यह दोनो भी स्त्रोत पुर्णत: अविश्वसनीय है, क्योंकी वो एकतर्फा सोच रखनेवाले + लेखके विषयवस्तू के प्रचारक हे, इतना ही नहीं। उनके ब्लोग/स्वयं प्रकाशित होनेसे वो और भी अविश्वनीय हो जाते हैं। -- QueerEcofeminist "cite! even if you fight"!!! [they/them/their] 09:18, 3 मई 2019 (UTC)
- @आशीष भटनागर और आर्यावर्त: जी, तो क्या लेख में सन्दर्भ के रूप में विश्वसनीय पत्रिकाएं भी इस्लेमाल नहीं हो सकती ? संदेश हिवाळे (वार्ता) 09:11, 3 मई 2019 (UTC)
- @आशीष भटनागर, आर्यावर्त, और QueerEcofeminist: फोरवर्ड प्रेस एक स्वतंत्र व अलग सोच रखनेवाली पत्रिका हैं, किंतु अर्थ ये नहीं की वो अविश्वसनीय है। इस पत्रिका में कई विषयों के विशेषज्ञ व उल्लेखनीय व्यक्ति लेख लिखते है, जो इस पत्रिका जुडे हुए भी नहीं होते। और QueerEcofeminist द्वारा हटाये गये संदर्भ इस पत्रिका की विचारधारा को नहीं प्रसारित नहीं कर रहे हैं, बल्कि वो आंबेडकर जी के साहित्य तथा तैलचित्र के संदर्भ में है। पत्रिका विचारधारा व पत्रिका लेख से हमेशा एकजैसे नहीं होते, अगर कल मोदी जी इस पत्रिका में लेख लिखेंने तो क्या वो लेख भी अविश्वसनीय माना जायेगा? (महज इसलिए की पत्रिका की कोई अलग विचारधारा हैं!) इसलिए आप सभी लेखों को अविश्वसनीय नहीं कह सकते है। संदेश हिवाळे (वार्ता) 05:24, 5 मई 2019 (UTC)
- में चाहुंगा की, हिवाळे जी को छोडकर, बाकी के सदस्य बोले। हिवाळे जी के लिये में मेरा आक्षेप फिरसे दौहराता हुं उनके ब्लोग/स्वयं प्रकाशित होनेसे वो और भी अविश्वनीय हो जाते हैं। -- QueerEcofeminist "cite! even if you fight"!!! [they/them/their] 05:36, 5 मई 2019 (UTC)
- @आशीष भटनागर, आर्यावर्त, और QueerEcofeminist: फोरवर्ड प्रेस एक स्वतंत्र व अलग सोच रखनेवाली पत्रिका हैं, किंतु अर्थ ये नहीं की वो अविश्वसनीय है। इस पत्रिका में कई विषयों के विशेषज्ञ व उल्लेखनीय व्यक्ति लेख लिखते है, जो इस पत्रिका जुडे हुए भी नहीं होते। और QueerEcofeminist द्वारा हटाये गये संदर्भ इस पत्रिका की विचारधारा को नहीं प्रसारित नहीं कर रहे हैं, बल्कि वो आंबेडकर जी के साहित्य तथा तैलचित्र के संदर्भ में है। पत्रिका विचारधारा व पत्रिका लेख से हमेशा एकजैसे नहीं होते, अगर कल मोदी जी इस पत्रिका में लेख लिखेंने तो क्या वो लेख भी अविश्वसनीय माना जायेगा? (महज इसलिए की पत्रिका की कोई अलग विचारधारा हैं!) इसलिए आप सभी लेखों को अविश्वसनीय नहीं कह सकते है। संदेश हिवाळे (वार्ता) 05:24, 5 मई 2019 (UTC)