राँची
राँची ᱨᱟᱺᱪᱤ | |
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झारखण्ड की राजधानी | |
ऊपर बाएँ से दाएँ: कांके, रांची रेलवे स्टेशन, राजेंद्र चौक, बिरसा मुंडा अंतरराष्ट्रीय विमानक्षेत्र, जेएससीए इंटरनेशनल क्रिकेट स्टेडियम, लाइन टैंक तालाब, कद्रू फ्लाईओवर-होटल रैडिसन ब्लू , न्यूक्लियस मॉल, जीईएल चर्च परिसर | |
निर्देशांक: 23°22′N 85°20′E / 23.36°N 85.33°Eनिर्देशांक: 23°22′N 85°20′E / 23.36°N 85.33°E | |
देश | भारत |
प्रान्त | झारखण्ड |
ज़िला | राँची ज़िला |
शासन | |
• सभा | रांची नगर निगम |
• महापालिकाध्यक्ष | आशा लाकरा |
• उप महापालिकाध्यक्ष | संजीव विजयवर्गीय |
क्षेत्रफल | |
• झारखण्ड की राजधानी | 652.02 किमी2 (251.75 वर्गमील) |
ऊँचाई | 651 मी (2,136 फीट) |
जनसंख्या (2011)[1] | |
• झारखण्ड की राजधानी | 14,56,528 |
• घनत्व | 2,200 किमी2 (5,800 वर्गमील) |
• महानगर | 28,58,326 |
भाषाएँ | |
• प्रचलित | हिन्दी, संताली |
समय मण्डल | भामस (यूटीसी+5:30) |
पिनकोड | 834001 (83 xxxx) |
टेलीफोन कोड | 0651 |
वाहन पंजीकरण | JH-01 (पूर्व BR 14) |
लिंगानुपात | 1000 पुरुष : 950 स्त्री |
साक्षरता | 87.68% |
वेबसाइट | www |
राँची
(ᱨᱟᱧᱪᱤ) भारत के झारखण्ड राज्य की राजधानी है और उस राज्य के राँची ज़िले का मुख्यालय है।
विवरण
[संपादित करें]राँची को झरनों का शहर भी कहा जाता है। पहले जब यह बिहार राज्य का भाग था तब गर्मियों में अपने अपेक्षाकृत ठंडे मौसम के कारण प्रदेश की राजधानी हुआ करती थी। झारखंड आंदोलन के दौरान राँची इसका केन्द्र हुआ करता था। राँची एक प्रमुख औद्योगिक केन्द्र भी है। जहाँ मुख्य रूप से एच ई सी (हेवी इंजिनियरिंग कारपोरेशन), भारतीय इस्पात प्राधिकरण, एकयुप्रेशर काउंसिल की इकाई, मेकन इत्यादि के कारखाने हैं। राँची के साथ साथ जमशेदपुर और बोकारो इस प्रांत के दो अन्य प्रमुख औद्योगिक केन्द्र हैं। राँची को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्मार्ट सिटीज मिशन के अन्तर्गत एक स्मार्ट सिटी के रूप में विकसित किये जाने वाले सौ भारतीय शहरों में से एक के रूप में चुना गया है। राँची भारतीय क्रिकेट कप्तान महेंद्र सिंह धोनी का गृहनगर होने के लिए प्रसिद्ध है।
झारखंड की राजधानी राँची में प्रकृति ने अपने सौंदर्य को खुलकर लुटाया है। प्राकृतिक सुन्दरता के अलावा राँची ने अपने खूबसूरत पर्यटक स्थलों के दम पर विश्व के पर्यटक मानचित्र पर भी पुख्ता पहचान बनाई है। गोंडा हिल और रॉक गार्डन, मछली घर, बिरसा जैविक उद्यान, टैगोर हिल, मैक क्लुस्किगंज और आदिवासी संग्राहलय इसके प्रमुख पर्यटक स्थल हैं। इन पर्यटक स्थलों की सैर करने के अलावा यहां पर प्रकृति की बहुमूल्य देन झरनों के पास बेहतरीन पिकनिक भी मना सकते हैं। राँची के झरनों में पांच गाघ झरना सबसे खूबसूरत है क्योंकि यह पांच धाराओं में गिरता है। यह झरने और पर्यटक स्थल मिलकर राँची को पर्यटन का स्वर्ग बनाते हैं और पर्यटक शानदार छुट्टियां बिताने के लिए हर वर्ष यहां आते हैं।
नामोत्पत्ति
[संपादित करें]राँची का नाम उराँव गांव के पिछले नाम से एक ही स्थान पर, राची के नाम से लिया गया है। "राँची" उराँव शब्द 'रअयची' से निकला है जिसका मतलब है रहने दो। पौराणिक कथाओं के अनुसार, आत्मा के साथ विवाद के बाद,एक किसान ने अपने बांस के साथ आत्मा को हराया। आत्मा ने रअयची रअयची चिल्लाया और गायब हो गया। रअयची राची बन गई, जो राँची बन गई। राची के ऐतिहासिक रूप से एक महत्वपूर्ण पड़ोस में डोरांडा (दुरन "दुरङ" का अर्थ है गीत और दाह "दएः" का अर्थ मुंडारी भाषा में जल है)। डोरांडा हीनू (भुसूर) और हरमू नदियों के बीच स्थित है, जहां ब्रिटिश राज द्वारा स्थापित सिविल स्टेशन, ट्रेजरी और चर्च सिपाही विद्रोह के दौरान विद्रोही बलों द्वारा नष्ट किए गए थे।
भूगोल
[संपादित करें]राँची कर्क रेखा के पास है। इसकी नगरपालिका क्षेत्र 652.02 कि॰मी2 (252 वर्ग मील) है, और इसकी औसत ऊंचाई समुद्र तल से 651 मीटर है। राँची छोटा नागपुर पठार के दक्षिणी भाग में स्थित है, जो दक्कन पठार का पूर्वी भाग है। राँची की एक पहाड़ी स्थलाकृति और इसके घने उष्णकटिबंधीय जंगलों का एक संयोजन है जो राज्य के बाकी हिस्सों की अपेक्षा अपेक्षाकृत मध्यम जलवायु का उत्पादन करता है। हालांकि, अनियंत्रित वनों की कटाई और शहर के विकास के कारण, औसत तापमान में वृद्धि हुई है।
जलवायु
[संपादित करें]हालांकि राँची में एक आर्द्र उप-उष्णकटिबंधीय जलवायु है, इसके स्थान और इसके आस-पास के जंगलों को असामान्य रूप से सुखद माहौल बनाने के लिए गठबंधन है, जिसके लिए यह ज्ञात है। ग्रीष्मकालीन तापमान 20 डिग्री सेल्सियस से लेकर 42 डिग्री तक, सर्दियों के तापमान 0 डिग्री से 25 डिग्री तक हो सकते हैं। दिसंबर और जनवरी में सबसे अच्छे महीने हैं, कुछ क्षेत्रों में ठंड के तापमान में गिरावट आने के कारण। वार्षिक वर्षा लगभग 1430 मिमी (56.34 इंच) है। जून से सितंबर तक वर्षा लगभग 1,100 मिमी है इस जलवायु के लिए कोपेन क्लाइमेट वर्गीकरण उपप्रकार "सिवा" (आर्मीट्रूटिकल जलवायु) है।
जनसांख्यिकी
[संपादित करें]2011 की जनगणना के अनुसार, राँची नगरपालिका की जनसंख्या 1,126,741 है, यह भारत में 46 वां सबसे बड़ा शहरी शहर बना रही है। जनसंख्या का 51.3% पुरुष और 48.7% महिलाएं हैं। राँची शहर में औसत साक्षरता दर 87.68% (जनगणना 2011) है। 2024 में रांची शहर की वर्तमान अनुमानित जनसंख्या 1,523,000 है | [2]
रांची लोकसभा क्षेत्र में 31.19 फीसदी एसटी और 4.53 फीसदी एससी वोटर है। रांची में रहते हैं 58 फीसदी हिंदू, 15 फीसदी मुस्लिम।[3]
2000 में झारखंड के नए राज्य की घोषणा के बाद शहर में आबादी में अचानक वृद्धि देखी गई। रोजगार के बढ़ते अवसरों और कई क्षेत्रीय और राज्य स्तर के कार्यालयों, बैंकों और एफ.एम.सी.जी . कंपनियों के उद्घाटन के चलते शहर में रोज़गार का तेजी प्रवासियों की मांग 2010 के अंत में एसोसिएटेड चेंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री ऑफ इंडिया द्वारा किए गए एक अध्ययन के मुताबिक, राँची 16.8% की हिस्सेदारी के साथ भारत में सबसे ज्यादा रोजगार पैदा करने वाले टियर-थ्री शहरों में से एक था, इसके बाद मैंगलोर और मैसूर का नाम था।
परिवहन
[संपादित करें]वायुमार्ग
[संपादित करें]राँची की बिरसा मुंडा अंतरराष्ट्रीय विमानक्षेत्र (आई एक्स आर) को कोलकाता, दिल्ली, मुंबई, बेंगलूर, पटना, हैदराबाद, भुवनेश्वर से सीधी उड़ानें हैं। एयर इंडिया, गोएयर, इंडिगो और एयर एशिया जैसी कुछ प्रमुख एयरलाइंस इस उद्देश्य का काम करती हैं। सीधे चेन्नई, चंडीगढ़, पुणे, पोर्ट ब्लेयर, नागपुर, गोवा, अमृतसर, जयपुर, लखनऊ, वाराणसी, श्रीनगर, कोयंबतूर, गुवाहाटी, तिरुवनंतपुरम, विशाखापट्टनम और अहमदाबाद जैसे शहरों के साथ ही राँची को जोड़ने के लिए योजनाएं चल रही हैं। एक नया अंतरराष्ट्रीय टर्मिनल अब तैयार है, जो 19,676 वर्ग मीटर भूमि पर आयातित उपकरणों से सुसज्जित है, और इसमें 500 घरेलू और 200 अंतरराष्ट्रीय यात्रियों को संभालने की क्षमता है। इसके अलावा, बिरसा मुंडा अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर अत्याधुनिक घरेलू कार्गो कॉम्प्लेक्स का उद्घाटन मुख्यमंत्री रघुबर दास द्वारा 50 लाख टन की दैनिक क्षमता के साथ किया गया था, जो अब राँची में और बाहर चलने वाली 14 उड़ानों को पूरा करता है।
रेलवे
[संपादित करें]राँची रेलवे स्टेशन अच्छी तरह से दिल्ली, कोलकाता, मुंबई, चेन्नई और अन्य प्रमुख शहरों से सीधे ट्रेनों से जुड़ा हुआ है। इसमें सभी मानक आवश्यकताओं के साथ छह प्लेटफार्म हैं। यह राँची हवाई अड्डे और बस टर्मिनल से अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है। राँची रेलवे स्टेशन 36 हॉलिंग ट्रेनों, 27 आरंभिक ट्रेनों और 27 टर्मिनेशन ट्रेनों को पूरा करता है। राँची शहर में दो रेलवे स्टेशन है , राँची रेलवे स्टेशन और हटिया रेलवे स्टेशन[4] |
सड़क
[संपादित करें]राष्ट्रीय राजमार्ग 23 और 33 द्वारा बसों और निजी वाहनों द्वारा आसानी से रांची तक पहुचा जा सकता है।
मुख्य आकर्षण
[संपादित करें]गोंडा हिल एण्ड रॉक गार्डन
[संपादित करें]रांची में पर्यटक[5] गोंडा हिल और रॉक गार्डन की सैर पर जा सकते हैं। रॉक गार्डन को गोंडा हिल की चट्टानों को काटकर बनाया गया है। इस पार्क के अलावा गोंडा हिल की तराई में एक बांध का निर्माण भी किया गया है जो इसकी खूबसूरती को कई गुना बढ़ा देता है। यह सब मिलकर इसे एक बेहतरीन पिकनिक स्पॉट बनाते हैं। पर्यटकों को यहां आकर बहुत अच्छा लगाता है क्योंकि वह यहां पर शानदार पिकनिक का आनंद ले सकते हैं।
मछलीघर और मूटा मगरमच्छ प्रजनन केन्द
[संपादित करें]गोंडा हिल पर पिकनिक मनाने के अलावा पर्यटक रांची में मछलीघर और मूटा मगरमच्छ प्रजनन केन्द्र देखने जा सकते हैं। मछलीघर में पर्यटक विभिन्न प्रजातियों की रंग-बिरंगी मछलियों को देख और खरीद सकते हैं। जबकि मगरमच्छ प्रजनन केन्द्र में लगभग 50 मगरमच्छों को देखा जा सकता है। यह दोनों बहुत खूबसूरत हैं और पर्यटकों को बहुत पसंद आते हैं। वह मछलियों और मगरमच्छों के खूबसूरत चित्रों के फोटो खींचकर भी ले जाते हैं।
राजभवन
[संपादित करें]रांची का राजभवन राज्य के गवर्नर का आवास है और इसका स्थापना साल 1833 में हुआ था। यहाँ आप राजभवन की सुंदरता और उसके वनस्पतिकीय उद्यान का आनंद ले सकते हैं। यहाँ विभिन्न फूलों और पौधों के अद्वितीय संग्रह को देख सकते हैं।
टैगोर पहाड़ी
[संपादित करें]टैगोर पहाड़ी की गिनती रांची के प्रमुख पर्यटक स्थलों में की जाती है। यह पर्यटकों के बीच बेहतरीन पर्यटक स्थल के रूप में प्रसिद्ध है। उन्हें पहाड़ी पर आकर बहुत अच्छा लगता है क्योंकि इस पहाड़ी से पूरे रांची के मनोहारी दृश्य देखे जा सकते हैं। पहाड़ी पर पत्थरों से बने शांतिधाम को भी देखा जा सकता है। इसका निर्माण गुरूदेव रवीन्द्रनाथ ठाकुर के बड़े भाई ने कराया था।
मैक क्लुस्किगंज
[संपादित करें]यूरोपियन शैली के बंगलों और आदिवासी संग्राहलय के लिए मैक क्लुस्किगंज स्थानीय निवासियों के साथ पर्यटकों में भी बहुत लोकप्रिय है। यहां पर कई खूबसूरत बंगले देखे जा सकते हैं। बंगलों के अलावा यहां पर आदिवासी संग्राहलय की स्थापना भी की गई है जिसमें आदिवासियों के इतिहास और संस्कृति से जुड़ी कई महत्वपूर्ण व ऐतिहासिक वस्तुओं को देखा जा सकता है।
पशुपतिनाथ नाथ मंदिर
[संपादित करें]यह हिंदू धर्मिक स्थल है जो पशुपतिनाथ नाथ के शिव मंदिर के रूप में परिचित है। यहाँ विश्वास किया जाता है कि यहाँ भगवान शिव की पूजा करने से मनोकामनाएँ पूरी होती हैं।
बिरसा जैविक उद्यान
अगर आप छोटे बच्चों के साथ आ रहे है तो आपके लिए सबसे बेहतर डेस्टिनेशन हो सकता है भगवान बिरसा जैविक उद्यान. रांची के ओरमांझी में स्थित इस पार्क को लोग चिड़ियाघर के नाम से जानते है. इसकी स्थापना 1994 में गेतलसूद बांध के किनारे और मुख्य पटना-रांची राजमार्ग पर की गई थी।
पाचमार्ही
[संपादित करें]यह एक महत्वपूर्ण पर्यटक स्थल है। यह एक प्राकृतिक उपावस्थिति है जो लुव नदी के किनारे स्थित है। यहाँ वन्यजीवों को देखने का एक अद्वितीय अवसर है और जंगल सफारी का आनंद लिया जा सकता है। यहाँ के घने जंगल और नदी की गहराईयों में छिपे जीवों का अन्वेषण करने का अवसर भी है।
झरने
[संपादित करें]प्रकृति के अनमोल उपहार झरनों को रांची के पर्यटन उद्योग की जान माना जाता है। इन झरनों में हुन्डरू, जोन्हा, दसम और पांच गाघ झरने प्रमुख हैं। यह झरने तो खूबसूरत हैं ही लेकिन इनके आस-पास के नजारे भी बहुत खूबसूरत हैं जो पर्यटकों को मंत्र-मुग्ध कर देते हैं। इन सभी झरनों में जोन्हा झरना प्रमुख है क्योंकि इस झरने के पास भगवान बुद्ध के मन्दिर के दर्शन किए जा सकते हैं। पर्यटकों को यह झरना खासतौर से आकर्षित करता है क्योंकि यहां उनके ठहरने के लिए रेस्ट हाऊस का निर्माण किया है।
- दशम जलप्रपात - राँची से लगभग ४० किलोमीटर दूर राँची जमशेदपुर मार्ग पर
- जोन्हा जलप्रपात - राँची से लगभग १८ किलोमीटर दूर
- हुन्डरु जलप्रपात - राँची से लगभग २८ किलोमीटर दूर
- जगन्नाथपुर मंदिर - पुरी की स्थापत्य शैली में निर्मित मंदिर
खानपान
[संपादित करें]रांची में सबसे लोकप्रिय व्यंजनों में से कुछ हैं:
- धुस्का: धुस्का एक प्रकार का चपात है जो चावल और उड़द दाल (काली दाल)से बनाया जाता है। यह एक लोकप्रिय नाश्ता और स्ट्रीट फूड है।[6]
- लिट्टी-चोखा: लिट्टी-चोखा एक पारंपरिक बिहारी व्यंजन है जो आटे की लोई और चोखा से बना होता है। चोखा एक प्रकार की चटनी है जो आलू, टमाटर, प्याज, और मिर्च से बनाई जाती है।
- बांस की सब्जी: बांस की सब्जी एक विशिष्ट झारखंडी व्यंजन है जो बांस के तने से बनाई जाती है। यह सब्जी स्वादिष्ट और पौष्टिक होती है।
- चाट: चाट एक प्रकार का स्नैक है जो आलू, दही, चटनी, और अन्य सामग्री से बनाया जाता है। यह एक लोकप्रिय स्ट्रीट फूड है।
- कचरी: कचरी एक प्रकार का स्नैक है जो बेसन और मसालेदार सब्जियों से बनाया जाता है। यह एक लोकप्रिय स्ट्रीट फूड है।
शैक्षिक केन्द्र
[संपादित करें]राँची में अनेक प्रसिद्ध शैक्षिक संस्थान हैं।
- नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एडवांस मैन्युफैक्चरिंग टेक्नोलॉजी
- राँची विश्वविद्यालय
- राष्ट्रीय मनोचिकत्सा संस्थान
- राजेन्द्र मेडिकल कालेज एवं अस्पताल
- बिरला इंस्टीट्यूट आफ़ टेक्नालजी, मेसरा
- सेंट जेवियर्स महाविद्यालय (स्थापित १९४०)
- जेवियर इंस्टीट्यूट आफ़ सोशल सर्विस * एकयुप्रेशर काउंसिल, टाटीसिलवे राचीं
- Birsa agriculture University kanke.
औद्योगिक संस्थान
[संपादित करें]सिनेमा हाल
[संपादित करें]पुराने राँची में बहुत से सिनेमा घर हुआ करते थे, लेकिन शहरीकरण के बढते दवाब की वजह से और सिनेमा जानेवालों की संख्या में गिरावट की वजह से पिछ्ले कुछ सालों में राँची में बहुत से सिनेमा घर बंद हो चुके हैं। पिछले वर्ष (2006) में भी उपहार एवं प्लाजा को बंद कर दिया गया। अब उसकी जगह आधुनिक मल्टीप्लेक्स माल बनाये जा रहे हैं। महाराष्ट्र एवं दिल्ली जैसे विकसित राज्यों की तर्ज पर झारखंड सरकार ने भी मल्टीप्लेक्स बनाने वालों के लिए कई तरह के कर-छूट की भी घोषणा की है।
- आइप्लेक्स मल्टीप्लेक्स (2 पर्दों वाली) : हिनू पुल, इंदिरा प्लेस के निकटा
- सुजाता सिनेमा: मेन रोड, राँची
- सुजाता सिनेमा: मेन रोड, राँची
- मीनाक्षी सिनेमा, रातू रोड, राँची
- प्लाजा सिनेमा: थरपखाना, ओल्ड एच बी रोड राँची
- सैनिक सिनेमा: मोराबादी, राँची
- विष्णु सिनेमा: मेन रोड, राँची (बंद)
- संध्या सिनेमा: पुरुलिया रोड, राँची (डांगरटोली चौक के निकट)
- उपहार सिनेमा : रातू रोड राँची (बंद, इसकी जगह आईनाक्स मल्टीप्लेक्स बन रहा है)
राँची के पहले शापिंग सह मल्टीप्लेक्स का शुभारंभ 7 सितंबर 2007 में हीनू में हुआ। 50-150 रुपये के टिकट वाले इस मल्टीप्लेक्स में लगभग 350 दर्शकों के बैठने की क्षमता है।
रांची के उल्लेखनीय लोग
[संपादित करें]- विश्वनाथ शाहदेव, स्वतंत्रता सेनानी, रांची के बरकागढ़ में पैदा हुए
- लाल चिंतामणि शरण नाथ शाहदेव, अंतिम नागवंशी राजा
- गोपाल शरण नाथ शाहदेव, नागवंशी राजकुमार और विधायक
- राजेश चौहान, पूर्व भारतीय क्रिकेटर, रांची में पैदा हुए [71]
- महेंद्र सिंह धोनी, भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान
- कार्ल हैबरलिन, जर्मन चिकित्सक, रांची में पैदा हुए
- दीपिका कुमारी, भारत का प्रतिनिधित्व करने वाली पेशेवर अंतर्राष्ट्रीय तीरंदाज
- अंजना ओम कश्यप, भारतीय पत्रकार और समाचार प्रस्तुतकर्ता
- राजेश जैस, अभिनेता
- ब्रिटिश पत्रकार और इतिहासकार पीटर मैन्सफील्ड का जन्म रांची में हुआ था
इन्हें भी देखें
[संपादित करें]सन्दर्भ
[संपादित करें]- ↑ "Cities having population 1 lakh and above, Census 2011" (PDF). The Registrar General & Census Commissioner, India. मूल से 7 मई 2012 को पुरालेखित (PDF). अभिगमन तिथि 25 June 2014.
- ↑ "Ranchi Population 2024".
- ↑ "जानें क्या है रांची के धार्मिक समीकरण ?". २५ मई २०२४. अभिगमन तिथि ११ सितम्बर २०२४.
- ↑ "हटिया रेलवे स्टेशन".
- ↑ "रांची में घूमने की जगह". प्रभात खबर. अभिगमन तिथि 27 नवंबर 2023.
- ↑ "रांची के ये हैं फेमस व्यंजन, घूमने जाएं तो स्वाद लेना न भूलें". प्रभात खबर. 11 दिसंबर 2023.