द्रविड़ कड़गम

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1916 में साउथ इंडियन लिबरेशन एसोसिएशन कि स्थापना हुई जिसका उद्देश्य ब्राह्मण की आर्थिक शक्ति का विरोध करना था तथा गैर-ब्राह्मण सामाजिक उत्थान करना था। 17 सितंबर 1879 को तमिलनाडु में जन्मे पेरियार ने जस्टिस पार्टी का गठन किया जिसने ब्राह्मणवादी विचार का विरोध किया तथा उत्तर भारत का राजनीति पर प्रभाव का घोर विरोध किया। जस्टिस पार्टी ने अस्पृश्यता के लिए भी काम किया और मंदिर मार्ग पर अछूतों को चलने के लिए आंदोलन किया। यही जस्टिस पार्टी को 1944 में पेरियार ने द्रविड़ कड़गम पार्टी का नाम दिया। अर्थात जस्टिस पार्टी बाद में चलकर द्रविड़ कड़गम पार्टी बनी।