ज़फ़रनामा (मुस्तवफी)
ज़फ़रनामा (मुस्तवफी) (अंग्रेज़ी:Zafarnamah (Mustawfi)) ईरानी कवि हमदुल्ला गजविनी (1281-1339/1340) द्वारा लिखी गई महाकाव्य कविताओं वाली एक पुस्तक है, जिसे ईरानी कवि हमदुल्ला मोस्तोफी (1334 ईस्वी में मृत्यु) द्वारा व्यवस्थित किया गया था। इस महाकाव्य इतिहास में कविता की 75,000 पंक्तियों के माध्यम से ईरान के अरब आक्रमण से लेकर मंगोल आक्रमण के समयतक ईरान के इतिहास की पड़ताल की गई है।
शाहनामा के वजन के बराबर पचहत्तर हजार श्लोकों में जफरनामा कविता 735 ए.एच. में समाप्त हुई थी। ज़फ़रनामा को तीन किताबों या तीन खंडों में बांटा गया है, पहली किताब अरब इतिहास (इस्लामी खंड) पर, दूसरी किताब गैर-यहूदी इतिहास (निर्णय खंड) और तीसरी किताब मुगल इतिहास (सुल्तानी खंड) पर है।
ग़ज़विनी को इस काम को लिखने के लिए वज़ीर और इतिहासकार रशीद उद-दीन हमदानी द्वारा प्रेरित किया गया था । यह काम फ़िरदौसी के " शाहनामा " की निरंतरता है। ग़ज़विनी ने 1320 में काम लिखना शुरू किया और 1334 में इसे पूरा किया।[1]
ज़फ़रनामा
[संपादित करें]जफरनामा Zafarnama (फारसी: ظفرنامه, शाब्दिक रूप से विजय की पुस्तक) कई फारसी और तुर्की साहित्यिक कृतियों का शीर्षक है।
ये भी देखें
[संपादित करें]- ज़फ़रनामा सुल्तान हुसैन मिर्ज़ा
- अर्रहीकुल मख़तूम
- ज़फ़रनामा शामी
- ज़फ़रनामा रणजीत सिंह
- ज़फ़रनामा (यज़्दी जीवनी)
सन्दर्भ
[संपादित करें]- ↑ "Ḥamd Allāh b. Abī Bakr b. Aḥmād b. Naṣr al-Mustawfī al-Ḳazwīnī". Cite journal requires
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(मदद)