ग्राफ़िक डिज़ाइन

ग्राफिक डिजाइन एक पेशा, शैक्षणिक अनुशासन और अनुप्रयुक्त कला है।[1] इसकी गतिविधि में विशिष्ट उद्देश्यों के साथ सामाजिक समूहों को विशिष्ट संदेश प्रेषित करने के उद्देश्य से दृश्य संचार प्रस्तुत करना शामिल है।[2] यह डिज़ाइन और ललित कला के अंतर्गत आती है। इसके अभ्यास में मैन्युअल या डिजिटल उपकरणों का उपयोग करके रचनात्मकता, नवाचार और पार्श्व सोच शामिल है जहां दृश्यात्मक संचार के लिए पाठ और ग्राफिक्स का उपयोग करना सामान्य है।
ग्राफिक डिजाइन में दृश्य संचार प्रणाली पर केन्द्रित ज्ञान के विभिन्न क्षेत्र होते हैं। उदाहरण के लिए इसे विज्ञापन रणनीतियों में लागू किया जा सकता है तथा इसे विमान जगत या अंतरिक्ष अन्वेषण में भी लागू किया जा सकता है।
इतिहास
[संपादित करें]पुरातन और मध्ययुग में ग्राफिक डिजाइन की शुरूआत अनुप्रयुक्त कला के रूप में हुई जहा 15वीं शताब्दी में यूरोप के मुद्रण के उदय और औद्योगिक क्रांति में उपभोक्ता संस्कृति के विकास में इसका महत्वपूर्ण योगदान था। यहां से ग्राफिक डिजाइन पश्चिम में एक अलग पेशे के रूप में उभरा जो 19वीं शताब्दी में विज्ञापन के साथ निकटता से जुड़ा।
विल एच. ब्रैडली उन्नीसवीं सदी में विभिन्न नोव्यू आर्ट शैलियों में कलाकृतियां बनाने के कारण उल्लेखनीय ग्राफिक डिजाइनरों में से एक बन गए।[3] 20वीं और 21वीं शताब्दियों में दृश्य संचार के अंतर्गत विज्ञापन, कला, ग्राफिक डिजाइन और ललित कला के बीच का अंतर मिट गया।
सन्दर्भ
[संपादित करें]- ↑ "Graphic Design < College of the Sequoias". web.archive.org. 22 सितम्बर 2021. मूल से पुरालेखित 22 सितंबर 2021. अभिगमन तिथि 30 जनवरी 2025.सीएस1 रखरखाव: BOT: original-url status unknown (link)
- ↑ "Professional Graphics Design Training - Professional IT Training Institute in Bangladesh". web.archive.org. 26 अगस्त 2022. मूल से पुरालेखित 26 अगस्त 2022. अभिगमन तिथि 30 जनवरी 2025.सीएस1 रखरखाव: BOT: original-url status unknown (link)
- ↑ Eskilson, Stephen J. (2019). Graphic Design: A New History, Third Edition (अंग्रेज़ी में). Yale University Press. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 978-0-300-23328-5.