कुक्कू माथुर की झंड हो गई

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कुक्कू माथुर की झंड हो गई
निर्देशक अमन सचदेव
लेखक विजय कपूर
अमन सचदेव
निर्माता एकता कपूर
शोभा कपूर
बिजॉय नाम्बियार
शारदा त्रिलोक
अभिनेता सिद्धार्थ गुप्ता
सिमरन कौर मुंडी
सिद्धार्थ भारद्वाज
छायाकार उदय सिंह मोहिते
संगीतकार मिकी मैकक्लियरी
पलाश सेन
आनन्द बाजपाई
निर्माण
कंपनी
गेटवे फ़िल्म्स
वितरक बालाजी मोशन पिक्चर्स
प्रदर्शन तिथियाँ
  • 30 मई 2014 (2014-05-30)
देश भारत
भाषा हिन्दी

कुक्कू माथुर की झंड हो गई 2014 की हिन्दी हास्य, रूमानी, नाटक फ़िल्म है जिसके निर्देशक अमन सचदेव और निर्माता एकता कपूर हैं।[1] यह मनोरंजन के साथ-साथ एक संदेश देने वाली एक हल्की-फुल्की फ़िल्म है। इसमें फ़िल्म के नायक एक हल्के अंदाज़ में बोध प्राप्ती होती है। वह सच्चाई के लिए प्रत्येक अपने सपने को भी ठुकरा देता है।[2]

पटकथा[संपादित करें]

फ़िल्म दो दोस्तों की कहानी है। इसमें कुक्कू माथुर (सिद्धार्थ गुप्ता) दिल्ली के एक निम्न-मध्यवर्गीय परिवार का लड़का है। वह खाना बहुत अच्छा बनाता है और उसका सपना एक भोजनालय खोलने का है। उसका दोस्त रॉनी गुलाटी (आशीष जुनेजा) एक व्यवसायी परिवार से है जो कपड़ों का व्यापार करते हैं। कुक्कू अपने पिता और बहन के साथ रहता है और उसकी माँ नहीं हैं और शायद इसलिए वह अपने दोस्त और उसकी माँ की दया का पात्र है। दोनों में खूब अच्छी बनती है। 12वीं पास करने के बाद कुक्कू का प्रवेश किसी कॉलेज में नहीं हो पाता, जबकि रॉनी कपड़े की दुकान के अपने पारिवारिक व्यवसाय में लग जाता है। वह एक प्रोडक्शन कंपनी में नौकरी शुरू कर देता है, जहां उसे अजीबोगरीब तरीके से काम करना पड़ता है। स्थितियां कुछ ऐसी होती हैं कि दोनों दोस्तों के रिश्तों में दरार आ जाती है। कुक्कू अब गुलाटी परिवार से बदला लेना चाहता है। यहीं कुक्कू के कानपुर के चचेरे भाई प्रभाकर भैया (अमित सियाल) कहानी में प्रवेश करते हैं, जिनके पास हर समस्या का समाधान है। वह तिकड़म भिड़ा कर कुक्कू का रेस्टोरेंट खुलवा देते हैं। कुक्कू की जिंदगी दौड़ने लगती है, पर एक दिन सब कुछ बदल जाता है।

कलाकार[संपादित करें]

  • सिद्धार्थ गुप्ता – कुक्कू माथुर[3]
  • सिमरन कौर मुंडी – तोता (कुक्कू का प्यार)
  • पल्लवी बत्रा – रोजी
  • आशिष जुनेजा – रॉनी गुलाटी
  • सिद्धार्थ भारद्वाज –
  • अमित सियाल –
  • कुमार अनुज शर्मा –
  • राज सिंह अरोड़ा –

सन्दर्भ[संपादित करें]

  1. मधुरीता मुखर्जी (29 मई 2014). "Kuku Mathur Ki Jhand Ho Gayi" [कुक्कू माथुर की झंड हो गई] (अंग्रेज़ी में). द टाइम्स ऑफ़ इण्डिया. मूल से 29 मई 2014 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 30 मई 2014.
  2. राजीव (30 जून 2014). "फिल्म रिव्यू: कुक्कू माथुर की झंड हो गई". लाइव हिन्दुस्तान. मूल से 2 जून 2014 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 30 जून 2014.
  3. प्रशान्त सिसोदिया (30 मई 2014). "फिल्म रिव्यू : मनोरंजक है 'कुक्कू माथुर की झंड हो गई'". एनडीटीवी इण्डिया. मूल से 31 मई 2014 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 30 मई 2014.

बाहरी कड़ियाँ[संपादित करें]