कलामण्डलम सत्यभामा

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कलामण्डलम सत्यभामा
जन्म लगभग 1937
शोरनूर, पलक्कड़, केरल, भारत
मौत (आयु 77)
ओट्टापलम, पलक्कड़, केरल, भारत
समाधि शोरनूर, पलक्कड़, केरल, भारत
जीवनसाथी कलामंडलम पद्मनाभन नायर
बच्चे चार पुत्रियाँ
पुरस्कार
उल्लेखनीय कार्य {{{notable_works}}}
Raja Ravi Varma, There Comes Papa (1893)

कलामण्डलम सत्यभामा (अँग्रेजी: Kalamandalam V. Satyabhama, लगभग 1937-13 सितंबर, 2015), एक भारतीय शास्त्रीय नर्तकी, शिक्षक और कोरियोग्राफर के साथ-साथ भारत के केरल राज्य की प्रसिद्ध मोहिनीअट्टम नृत्यांगना थीं। उन्होने मोहिनीअट्टम के साथ कई प्रयोगात्मक सुधार करके इस पारंपरिक नृत्य शैली को राज्य में लोकप्रिय बनाया। उन्हें कला के क्षेत्र में उत्कृष्ट योगदान के लिए 2014 में भारत सरकार ने पद्मश्री से तथा वर्ष 1994 में संगीत नाटक अकादमी पुरस्कार से सम्मानित किया।[1] वे केरल राज्य से हैं।

Koothambalam at Kerala Kalamandalam

उन्होने बारह वर्ष की उम्र में त्रिसूर स्थित कला प्रशिक्षण संस्थान कलामंडलम में दाखिला लिया। इस संस्थान की स्थापना मलयाली कवि वी॰ नारायण मेनन ने की थी। बाद में वह इस संस्थान की वे प्राचार्य भी बनीं और 1992 में यहां से सेवानिवृत्त हुईं। उनका विवाह कथकली के नर्तक दिवंगत कलामंडलम पद्मनाभन नायर के साथ हुआ था।[2]

सन्दर्भ[संपादित करें]

  1. "पद्म पुरस्कारों की घोषणा". नवभारत टाईम्स. 25 जनवरी 2013. मूल से 2 फ़रवरी 2014 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 27 जनवरी 2014.
  2. "नृत्यांगना कलामंडलम सत्यभामा का निधन". वेबदुनिया हिन्दी. 13 सितम्बर 2015. मूल से 25 सितंबर 2015 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 22 सितंबर 2015.