नारायण

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एकमात्र सत्य भगवान है जिनके ही रूप है ब्रह्मा, विष्णु और महेश श्री नारायण से ही जगत की उत्पत्ति और प्रलय होता है। नारायण शब्द नीर (जल) और अयन (निवास-स्थान) के मेल से उत्पन्न हुआ है, अर्थात लौकिक जल में निवास करने वाला। नारायण शब्द परमेश्वर का वाच्य शब्द है जिसका अर्थ जन्म न लेकर जल पर प्रकट होने वाला भगवान नारायण कहलाता है। ॐ नमो भगवते वासुदेवाय यह द्वादशाक्षर मंत्र भगवन का मंत्र है श्रीमन् नारायण का उल्लेख भागवत महापुराण और विष्णु पुराण में अच्छी तरह है। श्री हरी, विष्णु, मुकुंद, नारायण इत्यादि इनके अनंत नाम है। श्री हरी के २४ अवतार कहे गए है, जिनमें श्री कृष्ण अवतार को पूर्णावतार कहा जाता है।


नारायण
परमात्मा, परम सत्य, ईश्वर

कर्नाटक के बादामी गुफा मन्दिरों में नारायण का चित्रण
अन्य नाम कृष्ण, विष्णु, हरि, माधव, वेंकटेश
देवनागरी नारायण
संबंध आदिनारायण,परब्रह्म, परमात्मा, परमेश्वर, सनातन पुरुष,कृष्ण ; विष्णु
मंत्र "ॐ नमो भगवते वासुदेवाय" , वासुदेव: सर्वम इति
अस्त्र शंख, चक्र, गदा, कमल
शास्त्र वेद

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